मानेसर भूमि घोटाले में हुड्डा, अधिकारियों पर आरोप-पत्र दायर

कथित तौर पर यह जमीन अगस्त, 2004 से अगस्त, 2007 के दौरान सरकार द्वारा खरीदी गई थी।

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abhiranjan kumar
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भूपेंद्र सिंह हुड्डा ने कहा- 'जो हमारे संग जुड़ेगा, उन सभी का बराबर सम्मान होगा'

हरियाणा के पूर्व मुख्यमंत्री भूपिंदर सिंह हुड्डा (फोटो- IANS)

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केंद्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआई) ने हरियाणा के गुरुग्राम जिले के मानेसर में करोड़ों रुपये के भूमि घोटाले का आरोप लगाते हुए शुक्रवार को पंचकुला की एक अदालत में पूर्व मुख्यमंत्री भूपिंदर सिंह हुड्डा, वरिष्ठ नौकरशाहों और अन्य लोगों के खिलाफ एक आरोप-पत्र दायर किया।

आरोप पत्र दायर होने के बाद कांग्रेस प्रवक्ता रणदीप सुरजेवाला ने कहा, 'यह गलत और निराधार है, यह आरोप खट्टर सरकार की विफलताओं को ढकने का एक तरीका है।'

सीबीआई के आरोप-पत्र में हुड्डा के अलावा 34 लोगों के नाम हैं, जिनमें वरिष्ठ नौकरशाह छतर सिंह, एस.एस. ढिल्लों और एम.एल. तयाल और गुरुग्राम स्थित रियल एस्टेट कंपनी एबीडब्ल्यू बिल्डर्स के अतुल बंसल शामिल हैं।

ये तीनों ही तत्कालीन मुख्यमंत्री हुड्डा के कार्यकाल में प्रमुख सचिव थे। सीबीआई अधिकारी दिल्ली से दो अलमारियों में भूमि घोटाले से संबंधित दस्तावेज लाए थे।

सीबीआई ने सितंबर 2015 में एक मामला दर्ज किया था। आरोप था कि निजी बिल्डरों ने हरियाणा सरकार के अज्ञात लोकसेवकों के साथ साजिश रचकर मानेसर, नौरंगपुर और गुड़गांव (अब गुरुग्राम) के किसानों और भू-स्वामियों से औने-पौने दाम में लगभग 400 एकड़ जमीन खरीदी।

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कथित तौर पर यह जमीन अगस्त, 2004 से अगस्त, 2007 के दौरान सरकार द्वारा खरीदी गई थी। हुड्डा के नेतृत्व में कांग्रेस हरियाणा में 2005 से 2014 तक सत्ता में रही थी।

सीबीआई ने आरोप लगाया है कि पिछली कांग्रेस सरकार के कार्यकाल के दौरान एबीडब्ल्यू बिल्डर्स ने अधिकारियों के साथ मिलकर जमीन खरीदने के लिए साजिश रची थी।

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Source : IANS

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