हनीप्रीत को छुपा कर लाया गया था कोर्ट, मीडिया को दिखाई थी डमी

पुलिस प्रशासन हनीप्रीत को लेकर खासी सजगता बरत रही है और मीडिया को रिपोर्ट्स देने से भी बच रही है।

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Shivani Bansal
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हनीप्रीत को छुपा कर लाया गया था कोर्ट, मीडिया को दिखाई थी डमी

हनीप्रीत को कोर्ट ले जाते हुए

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पुलिस को हनीप्रीत की रिमांड के बाद पुलिस ने सेक्टर 23 के चंडी नगर थाने में हनीप्रीत को रखा है। ख़ास बात यह है कि हनीप्रीत को लेकर पुलिस ने सुरक्षा व्यवस्था चाकचौबंद रखी है।

थाने के जिस कमरे में हनीप्रीत को रखा है वहां देर रात पुलिस ने कारीगरों को बुलाकर ट्रांसपेरेंट ग्लास वाले कमरे को पर्दों से ढकवा दिया है। इसके अलावा पुलिस थाने के प्रांगण में बाहर अंधेरा रखा गया है और अनावश्यक लाइट बंद रखी गई है जोकि इससे पहले नहीं होता था।

पुलिस प्रशासन हनीप्रीत को लेकर खासी सजगता बरत रही है और मीडिया को रिपोर्ट्स देने से भी बच रही है।

कोर्ट में पेशी के दौरान भी पुलिस मीडिया की आंखों में धूल झोंकती नज़र तब आई जब हनीप्रीत और उसकी सहयोगी की डमी को थाने से कोर्ट लाया गया जबकि असली हनीप्रीत अलग से पहुंची थी कोर्ट पहुंच गई थी। 

पुलिस का यह प्लान ट्रैफिक की वजह से फेल हो गया था। कोर्ट ने पुलिस को 6 दिन की रिमांड पर भेजा है। 

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सूत्रों से मिली जानकारी के मुताबिक सेक्टर 23 के ही थाने में बनी एक कोठरी में हनीप्रीत को आम कैदियों की तरह ही रखा गया है। यहां उसे सोने के लिए वहीं सामान्य कम्बल मिले हैं जबकि सोने के लिए ज़मीन पर गद्दा लगाया गया है।

ज़्यादा सुविधा के नाम पर केवल टॉयलेट को साफ करवाया गया है। साथ ही खाने के लिए भी साधारण आम कैदियों वाला खाना ही दिया जा रहा है। सूत्रों के मुताबिक पुलिस से हनीप्रीत को कोई सहानुभूति नहीं मिल रही है और पुलिस धीरे-धीरे सख्ती से पेश आ रही है।

कोर्ट में हुई बहस के अहम बिंदु 

कोर्ट में पेशी के दौरान हनीप्रीत ने कहा कि वह हिंसा के समय वहां मौजूद नहीं थी और न ही उसने किसी को संपर्क किया। हनीप्रीत ने कोर्ट को बताया कि उसका फोन सीबीआई कोर्ट के बाहर ही रखवा लिया गया था। 

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हनीप्रीत ने कहा कि दिल्ली-हरियाणा में हुई हिंसा के समय वह गुरमीत राम रहीम के साथ कोर्ट में मौजूद थी। हनीप्रीत ने कोर्ट से कहा कि वह बिल्कुल निर्दोष है और उसे जानबूझकर फंसाया जा रहा है।

इसके अलावा कोर्ट में बचाव पक्ष के वकीलों ने अदालत में कहा कि जिस आधार पर पुलिस हनीप्रीत का रिमांड मांग रही है वह बिल्कुल आधारहीन है। जिरह के बाद कोर्ट ने 14 दिन के रिमांड के बदले 6 दिन की रिमांड पुलिस को दी है।

कोर्ट में भावुक हो गई हनीप्रीत

इस बीच हनीप्रीत कोर्ट में भावुक होकर रोने लगी थी। साथ ही अदालत में हनीप्रीत के पारिवारिक सदस्य भी मौजूद थे और उनकी भी आंखें नम थी। परिवार वाले बार-बार जानना चाह रहे थे कि पुलिस रिमांड के दौरान हनीप्रीत को टॉर्चर तो नहीं किया जाएगा।

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हनीप्रीत की मदद करने वाले पर पुलिस की नज़र

इस पूरे घटनाक्रम में एक अहम बात यह भी है कि पुलिस ने बहस के दौरान बताया कि वह तरनतारन में रहने वाले उस आदमी को ढूंढ रही है जिसने हनीप्रीत की काफी मदद की है क्योंकि इस पूरी घटना में उसका भी अहम रोल रहा है।

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Source : News Nation Bureau

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