आश्विन मास में आने वाली पूर्णिमा अपने आप में ही विशेष महत्व रखती है। इस बार शरद पूर्णिमा 15 अक्टूबर, शनिवार को मनाई जा रही है। हिंदू धर्म ग्रंथों के अनुसार, इस पूर्णिमा के दिन दान और स्नान करने से घर में लक्ष्मी आती हैं। कुछ लोग इस दिन कोजागरी व्रत रखते हैं। इसलिए इसे कोजागरी पूर्णिमा भी कहा जाता है। इसलिए इस दिन धन वैभव बढ़ाने के लिए मां लक्ष्मी और कुबेर की पूजा भी की जाती है।
1. इस दिन माता महालक्ष्मी और कुबेर का पूजन शुभदायक होता है। वहीं गाय के दूध की खीर बनाकर माता लक्ष्मी एवं कुबेर को अर्पित कर चांदनी रात में घर के बाहर या छत पर सिद्ध करने के लिए रखी जाती है। इसके बाद सुबह पूरे परिवार में इसे प्रसाद के तौर पर बांटा जाता है।
2. इस दिन मां लक्ष्मी को चांदी का चौकोर टुकड़ा चढ़ाकर फिर उसे अपने पास सालभर रखने से धन की वृद्धि होती है। इस दिन भगवान शिव को गाय के दूध से बनी खीर अर्पित करें।
3. शरद पूर्णिमा पर चंद्रमा की किरणें विशेष अमृतमयी गुणों से युक्त रहती हैं, जो कई बीमारियों का नाश कर देती हैं। इसलिए रात को लोग अपने घरों की छतों पर खीर रखते हैं, जिससे चंद्रमा की किरणें उस खीर के संपर्क में आती हैं और इसे खाने के बाद सभी बीमारियों का नाश हो जाता है।
4. कहा जाता है कि इस दिन लक्ष्मी मां रात में भ्रमण करने निकलती हैं कि कौन जाग रहा है और कौन सो रहा है। महालक्ष्मी उसका कल्याण करती हैं और जो सो रहा होता है वहां महालक्ष्मी नहीं ठहरती हैं।
5. इस दिन खीर को महीन सूती कपड़े, चलनी या जाली से अच्छी तरह ढककर रात को रख दिया जाता है। इस खीर को इष्ट देव का नाम लेकर खाया जाता है।
इस शरद पूर्णिमा पर मां लक्ष्मी सभी के भंडार वाली हैं, तो आप भी हो जाइए उन्हें मनाने के लिए तैयार और अपने घर में धन की वर्षा करने के लिए।
Source : News Nation Bureau