भारत और नेपाल (India-Nepal) में द्विपक्षीय संबंधों में तनाव के बीच विदेश मंत्रालय (MEA) ने बृहस्पतिवार को कहा कि दोनों देशों के बीच मित्रता के सदियों पुराने सभ्यतागत संबंध हैं और भारत उन्हें मजबूत करने की दिशा में प्रतिबद्ध है. भारत का यह बयान ऐसे समय में आया है जब कुछ ही दिन पहले नेपाली प्रधानमंत्री केपी ओली (KP Sharma Oli) ने भारत को निशाना बनाकर टिप्पणियां की थी. मानचित्र के मुद्दे को लेकर दोनों देशों के द्विपक्षीय संबंध पहले से ही प्रभावित हैं.
यह भी पढ़ेंः नौकरियों के सकारात्मक आंकड़े पर डोनाल्ड ट्रंप बोले- उबरने लगी है अमेरिकी अर्थव्यवस्था, लेकिन
68 वर्षीय प्रधानमंत्री ओली ने रविवार को दावा किया था कि उन्हें सत्ता से हटाने के लिए दूतावासों और होटलों में कई तरह की गतिविधियां हुई हैं. उन्होंने कहा कि कुछ नेपाली नेता भी खेल में शामिल हैं. ओली के बयान और नए राजनीतिक मानचित्र को लेकर विवाद के बारे में सवाल पूछे जाने पर विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता अनुराग श्रीवास्तव ने कहा कि भारत और नेपाल के सदियों पुराने सभ्यतागत मैत्री संबंध हैं, जो गहरे सांस्कृतिक और सामाजिक संबंधों पर आधारित हैं.
उन्होंने कहा कि हम इन संबंधों को लगातार मजबूत करने की दिशा में प्रतिबद्ध हैं. व्यापार के मुद्दों पर, श्रीवास्तव ने कहा कि दोनों देशों के बीच व्यापार के सुचारू प्रवाह को सुनिश्चित करने के लिए दोनों देशों ने कड़ी मेहनत और लगन से काम किया है. उन्होंने कहा कि भारत में लॉकडाउन के कठिन समय के दौरान भी व्यापार सुचारू रूप से जारी रहा है.
यह भी पढ़ेंः Exclusive: आरजेडी सुप्रीमो लालू प्रसाद यादव ने बदला परिवार का सियासी गणित
श्रीवास्तव ने भारत-नेपाल सीमा के पास बाढ़ को रोकने से संबंधित कार्यों में समस्या आने की खबरों के बारे में पूछे जाने पर कहा कि स्थापित तंत्रों के तहत संबंधित सरकारों द्वारा तटबंधों की मरम्मत और रखरखाव नियमित रूप से किया जा रहा है.