Year ended 2021 : साल 2021 बस कुछ ही घंटो में खत्म हो जाएगा. ऐसे में आज लोग अपने साल भर में किये गए काम को याद कर रहे है. लोगों के पास कुछ यादें हैं तो कुछ और यादगार पल हैं जिन्हे वो याद कर कर के मुस्करा रहे हैं. कोरोना काल के चलते बहुत लोगों ने अपनों को खो दिया. तो किसी ने भारत की शान को और आगे बढ़ाया. कहीं भारत की बेटियों ने सर फक्र से ऊंचा किया तो कहीं किसी ने भारत में एक नया कीर्तिमान स्थापित किया. किसी ने अपनों को खो दिया तो किसी ने अपनों को पा लिया. ऐसे ही खट्टी मीठी यादों के साथ साल 2021 को लोग अलविदा कहने वाले हैं. तो चलिए आज आपको बताते हैं कुछ ऐसे ही याद गार पल जिनको देख भारत के लोगों का दिल खुश हुआ और उनकी आखें नम हो गई.
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सुप्रीम कोर्ट ने इस साल यानी की 2021 में एनडीए (National Defnce Academy) में लड़कियों के दाखिले को मंजूरी दी है. इससे पहले लड़कियों को नेशनल डिफेंस एकेडमी के एग्जाम में शामिल होने की इजाज़त नहीं थी. ये खबर इस साल बहुत सी भरता की बेटियों के लिए खुश खबरि हुई. जो लोग देश की सेवा में अपन आजीवन बिताना छाते थे उनको इस साल एक नयी उम्मीद मिली. यह देश में पहली बार हुआ जब लड़कियों को NDA के एग्जाम में बैठने का सुनहरा मौका दिया गया.
नीरज चोपड़ा को आज हर कोई जानता है. चाहे बॉलीवुड हो या हॉलीवुड हर जगह उनकी काबिलेतारीफ है. इस साल आयोजित हुए टोक्यो ओलंपिक से पहले उन्हें कम ही लोग जानते थे. टोक्यो ओलंपिक 2020 में नीरज चोपड़ा ने वो कर दिखाया जो कि अब से पहले कभी नहीं हुआ था. भारत ने इस साल पहली बार एथलेटिक्स खेलों में गोल्ड मेडल जीत कर दिखाया. भारत ने इस साल 7 ओलंपिक मेडल जीते.
भारत ने पहली बार ब्रिटियन को पछाड़ कर यूनिकॉर्न कंपनियों के मामले में सबसे आगे आया है. भारत तीसरे नंबर पर रहा है. मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक भारत में इस साल नवंबर तक 33 स्टार्टअप यूनिकॉर्न बने. इसके साथ ही देश में यूनिकॉर्न की संख्या 54 हो गई. ब्रिटेन में 39 यूनिकॉर्न हैं, जिनमें 15 इस साल ही बने हैं. आपकी जानकारी के लिए बता दें कि यूनिकॉर्न उन कंपनियों को कहते हैं, जिसकी कीमत एक अरब डॉलर से ज्यादा है.
भारत में सबसे ज्यादा जान संख्या है. इसी नाम से लोग भारत को पहचानते हैं. जानकारों के मुताबिक भारत की कुल प्रजनन दर (TFR), प्रति महिला बच्चों की औसत संख्या राष्ट्रीय स्तर पर 2.2 से घटकर 2 हो गई है. NFHS 2019-21 के आंकडों के अनुसार देश के शहरों में प्रजनन दर 1.6 फीसद रह गई है.
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Source : News Nation Bureau