अलीगढ़ मुस्लिम विश्वविद्यालय (एएमयू) के कश्मीरी छात्रों के साथ 'एकजुटता' दिखाने के लिए रविवार को एक विरोध मार्च निकालने पर लानगेट से विधायक शेख अब्दुल राशिद को हिरासत में ले लिया गया। गौरतलब है कि एएमयू के तीन कश्मीरी छात्रों के खिलाफ देशद्रोह के आरोप में शुक्रवार को मामला दर्ज किया गया था।
कथित रूप से 'भारत-विरोधी' नारे लगाने और उत्तर कश्मीर में एक मुठभेड़ में मारे गये हिजबुल मुजाहिदीन के कमांडर मन्नान बशीर वानी के लिए नमाज-ए-जनाजा आयोजित करने की कोशिश का प्रयास करने के लिए इन तीन कश्मीरी छात्रों के खिलाफ देशद्रोह का मामला दर्ज किया गया था।
पार्टी के एक प्रवक्ता ने बताया कि उत्तर कश्मीर की लानगेट विधानसभा सीट से विधायक राशिद ने अपनी अवामी इत्तेहाद पार्टी (एआईपी) के समर्थकों के साथ जवाहर नगर क्षेत्र में अपने आधिकारिक आवास से लाल चौक सिटी सेंटर की ओर एक विरोध मार्च निकाला।
उन्होंने बताया कि प्रदर्शनकारी एएमयू के छात्रों के समर्थन में नारे लगा रहे थे। प्रवक्ता ने बताया कि राजबाग क्षेत्र में जब मार्च जीरो ब्रिज के निकट पहुंचा तब पुलिसकर्मियों ने उन्हें रोक लिया और प्रदर्शनकारियों एवं एआईपी प्रमुख को हिरासत में ले लिया गया।
विरोध मार्च निकालने से पहले पत्रकारों से बातचीत करते हुए राशिद ने कहा कि वानी सहित किसी के लिए भी नमाज-ए-जनाजा आयोजित करना कोई अपराध नहीं है, 'बल्कि यह मौलिक धार्मिक दायित्व है।'
उन्होंने आरोप लगाया, 'एएमयू प्रशासन ने कश्मीरी छात्रों के खिलाफ देशद्रोह के आरोप केवल स्थानीय भाजपा नेताओं के दबाव में दर्ज किये है।' विधायक ने कहा कि कश्मीरी छात्रों को 'केवल इस कारण निशाना बनाया जा रहा है, कि वे कश्मीरी हैं और एक कश्मीरी होना भारत में एक अपराध हो गया है।'
राशिद ने कहा, 'हम छात्रों के खिलाफ दर्ज की गई प्राथमिकी को वापस लेने और भारत-विरोधी नारे लगाने के आरोपी छात्रों के निलंबन को निरस्त किये जाने की मांग करते हैं।'
Source : PTI