कर्नाटक चुनाव के बाद राज्य में भले ही कांग्रेस-जेडीएस (जनता दल सेक्युलर) की सरकार बन गई हो लेकिन तब से लेकर अब तक सियासी घमासान ख़त्म नहीं हुआ है। या यूं कहें कि वर्तमान में कर्नाटक राजनीति का प्रयोगशाला बन गया है।
इसी क्रम में भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) ने शुक्रवार को राज्य कार्यकारिणी समिति की बैठक बुलाई है। बताया जा रहा है कि इस बैठक में कर्नाटक में जारी राजनीतिक घटनाक्रम को लेकर चर्चा की जाएगी। साथ ही कांग्रेस-जेडीएस गठबंधन टूटने के हालात में बीजेपी के स्टैंड को लेकर भी चर्चा होगी।
गौरतलब है कि बीजेपी राज्य कार्यकारिणी समिति की बैठक में राष्ट्रीय अध्यक्ष अमित शाह को भी आमंत्रित किया गया है। कर्नाटक विधानसभा चुनाव के बाद बीजेपी राज्य कार्यकारिणी की यह पहली बैठक होगी।
सूत्रों के मुताबिक, इस बैठक में राज्य बीजेपी अध्यक्ष के बदलने पर भी फ़ैसला लिया जा सकता है। इसके अलावा पार्टी लोकसभा चुनाव में राज्य की स्थिति पर चर्चा करेगी।
गौरतलब है कि यह बैठक राज्य में सत्ताधारी कांग्रेस और जनता दल (सेक्युलर) (जेडीएस) गठबंधन के बीच चल रही कथित तकरार के बीच हो रही है।
जेडीएस के मुखिया एच डी देवगौड़ा ने अपनी पार्टी की स्थिति साफ़ करते हुए कहा, 'ये आवश्यक नहीं है कि कर्नाटक के मुख्यमंत्री के रूप में कुमारस्वामी के शपथग्रहण समारोह में शामिल होने वाली पार्टियां सभी राज्यों में मिलकर लड़ेंगी।'
कर्नाटक के मुख्यमंत्री के शपथग्रहण समारोह में छह गैर बीजेपी दलों के नेता शामिल हुए थे। हालांकि देवगौड़ा ने बीजेपी को रोकने के लिए जल्द से जल्द तीसरे मोर्चे के गठन की बात कही है।
इसी बीच कांग्रेस नेता डीके शिवकुमार ने दोनों पार्टियों से गठबंधन को साथ लेकर चलने की अपील की है।
शिवकुमार ने कहा, 'हमें साथ चलना होगा। हमें अपने बीच सामंजस्य बनाना होगा, हम स्थिति को जानते हैं। सिद्धारमैया को समन्वय समित का अध्यक्ष नियुक्त किया गया था, उनके नेतृत्व में दोनों पार्टियों को सरकार चलानी होगी।'
गौरतलब है कि कर्नाटक के पूर्व सीएम सिद्धारमैया चाहते थे कि फरवरी में जो बजट उन्होंने पेश किया था, कुमारस्वामी सरकार उसे लेकर ही आगे बढ़ें और उसी हिसाब से काम करें और नए बजट की जगह पूरक बजट पेश किया जाए।
सिद्धारमैया के इस मांग को जेडीएस प्रमुख एच डी देवगौड़ा और सीएम कुमारस्वामी ने खारिज कर दिया था जिसके बाद से वो नाराज हो गए थे।
हाल ही में कुमारस्वामी सरकार से असंतुष्ट एक मंत्री और कांग्रेस के 9 विधायक सिद्धारमैया से मिलने के लिए दक्षिण कन्नडा जिले के बेलतानगडी पहुंचे थे।
इस कारण राज्य में गठबंधन सरकार को लेकर कई तरह के कयास लगाए जा रहे हैं जिससे बीजेपी कार्यकारिणी की बैठक भी अहम मानी जा रही है।
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Source : News Nation Bureau