सुप्रीम कोर्ट से कार्ति चिदंबरम को बड़ी राहत मिली है. सुप्रीम कोर्ट ने रजिस्ट्री में 2 करोड़ रुपये सिक्योरिटी के तौर पर जमा कराने की शर्त पर विदेश जाने की इजाजत दे दी है. कार्ति चिदंबरम को अपने दौरे और यात्रा व ठहरने का पूरा विवरण ईडी को देना होगा. सोमवार को इस मामले में सुप्रीम कोर्ट में उनके विदेश जाने की याचिका पर सुनवाई हुई. सोमवार को कार्ति चिदंबरम की ओर से पेश हुए उनके वकील कपिल सिब्बल ने सुप्रीम कोर्ट से कहा कि कार्ति को कोर्ट ने पहले भी विदेश जाने की अनुमति दी है. वो संसद सदस्य हैं और जमानत पर हैं. उनके खिलाफ दो मामले लंबित हैं.
10 करोड़ रुपये की शर्त क्यों?
कपिल सिब्बल ने सुप्रीम कोर्ट से कहा कि कार्ति चिदंबरम संसद सदस्य हैं. ऐसे में उनके ऊपर 10 करोड़ रुपये की शर्त क्यों लगाई जानी चाहिए. उन्होंने कोर्ट से कहा कि कार्ति कहीं भाग कर नहीं जा रहे हैं. सिब्बल ने कहा कि कार्ति को 10 करोड़ रुपये का लोन लेना पड़ता है जिस पर हर महीने 5 लाख रुपये का नुकसान होगा है. इससे पहले कभी ऐसी शर्त नहीं लगाई गई है. अब केस में सबूतों से छेड़छाड़ की भी कोई संभावना नहीं है.
वहीं दूसरी तरफ केंद्र की ओर से इस मामले में पेश हुए सॉलिसिटर जनरल तुषार मेहता ने कहा कि कानून की नजर में कोई सांसद नहीं बल्कि एक आरोपी हैं. इस मामले में प्रवर्तन निदेशायल (ईडी) की ओर से अदालत में कहा गया कि कार्ति पर सुप्रीम कोर्ट ने दस करोड़ रुपये सुप्रीम कोर्ट की रजिस्ट्री में जमा कराने की शर्त पहले ही लगाई गई हैं.
Source : News Nation Bureau