बीजेपी सांसद ने लोकोपायलट कैबिन पर स्वास्तिक बनाकर काशी महाकाल एक्सप्रेस (Kashi Mahakal Express) को किया रवाना

Kashi Mahakal Express: इंदौर क्षेत्र के भाजपा सांसद शंकर लालवानी ने किसी नये काम के शुभारंभ से जुड़ी हिन्दू रीति के मुताबिक इस ट्रेन के लोकोपायलट (ट्रेन ड्राइवर) कैबिन के बाहर कुमकुम से स्वास्तिक का पवित्र निशान बनाया.

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Dhirendra Kumar
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बीजेपी सांसद ने लोकोपायलट कैबिन पर स्वास्तिक बनाकर काशी महाकाल एक्सप्रेस (Kashi Mahakal Express) को किया रवाना

Kashi Mahakal Express( Photo Credit : फाइल फोटो)

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Kashi Mahakal Express: महाशिवरात्रि (Mahashivratri 2020) के भक्तिमय उल्लास के बीच फूलमालाओं से सजी काशी-महाकाल एक्सप्रेस शुक्रवार को यहां से अपने पहले नियमित वाणिज्यिक सफर पर रवाना हुई. यह रेलगाड़ी भारतीय रेलवे की सहायक कंपनी इंडियन रेलवे कैटरिंग एंड टूरिज्म कॉर्पोरेशन (आईआरसीटीसी-IRCTC) की संचालित देश की तीसरी कॉर्पोरेट ट्रेन है. इंदौर क्षेत्र के भाजपा सांसद शंकर लालवानी ने किसी नये काम के शुभारंभ से जुड़ी हिन्दू रीति के मुताबिक इस ट्रेन के लोकोपायलट (ट्रेन ड्राइवर) कैबिन के बाहर कुंकुम से स्वास्तिक का पवित्र निशान बनाया और यात्री रेलगाड़ी के आगे नारियल फोड़ा. फिर ढोल की थाप के बीच इसे हरी झंडी दिखाकर वाराणसी के लिये रवाना किया गया.

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उज्जैन और वाराणसी को आपस में जोड़ती है काशी-महाकाल एक्सप्रेस
बता दें कि यह ट्रेन देश में भगवान शिव के तीन ज्योर्तिलिंगों-ओंकारेश्वर (इंदौर के पास स्थित), महाकालेश्वर (उज्जैन) और काशी विश्वनाथ (वाराणसी) को जोड़ती है. ट्रेन के उद्घाटन सफर के दौरान रविवार को इसके बी-5 डिब्बे में सीट नंबर 64 को भगवान शिव के लिये "आरक्षित" किये जाने पर विवाद हुआ था. इसके बाद ऊपर की इस सीट (अपर बर्थ) पर अस्थायी तौर पर लगाये गये भगवान शिव के चित्र पहले ही हटा दिये गये हैं.

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अब रेल कर्मचारियों ने ट्रेन की पैंट्रीकार में देवी-देवताओं के चित्र लगाये हैं. इस बारे में पूछे जाने पर लालवानी ने संवाददाताओं से कहा, "यह भावनाओं की बात है. रेल कर्मचारियों ने अपनी भावनाएं व्यक्त करते हुए पैंट्रीकार में महाकाल का मंदिर बनाया है. इंदौर से ट्रेन के शुक्रवार को रवाना होने से पहले भी इस मंदिर में पूजा-अर्चना की गयी है. इस मंदिर में रोज पूजा-अर्चना की जायेगी.

कुछ रेल कर्मचारियों ने विरोध प्रदर्शन भी किया
इस बीच, आईआरसीटीसी के एक प्रवक्ता ने बताया कि जब यह ट्रेन इंदौर से वाराणसी के लिये रवाना हुई, तब इसकी 648 में से 510 सीटें बुक हो चुकी थीं. यात्री ट्रेन के आगे के सफर के दौरान भी इसमें सीट बुक करा सकते हैं. काशी-महाकाल एक्सप्रेस को वाराणसी के लिये रवाना किये जाने के दौरान इंदौर रेलवे स्टेशन पर रेल कर्मचारियों ने लाल झंडों के साथ विरोध प्रदर्शन किया.

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रेल कर्मचारी संगठन के नेताओं ने आरोप लगाया कि करदाताओं के धन से बनी रेल पटरियों और भारतीय रेलवे के अन्य बुनियादी ढांचे को सरकार निजी क्षेत्र के उन ट्रेन ऑपरेटरों को सौंपना चाहती है जो इसका उपयोग कर मोटा आर्थिक फायदा उठाना चाहते हैं. काशी-महाकाल एक्सप्रेस को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अपने संसदीय निर्वाचन क्षेत्र वाराणसी के दौरे में रविवार को वीडियो लिंक के माध्यम से हरी झंडी दिखाकर उद्घाटन सफर पर रवाना किया था.

Indian Railway IRCTC private train Mahashivratri 2020 Kashi Mahakal Express
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