कश्मीर घाटी (Kashmir Valley) में लगातार हालात खराब होते जा रहे हैं. यहां पर आए दिन आतंकियों द्वारा आम नागरिकों को निशाना बनाया जा रहा है. ऐसे में एआईएमआईएम (AIMIM) प्रमुख और हैदराबाद के सांसद असदुद्दीन ओवैसी (Asaduddin Owaisi) ने कश्मीर के ऐसे हालात को लेकर केंद्र की मोदी सरकार को दोषी ठहराया है. ओवैसी का कहना है कि कश्मीरी पंडितों की इस हालत के लिए केंद्र की मोदी सरकार सीधे तौर पर जिम्मेदार है. उन्होंने आरोप लगाया कि मोदी सरकार कश्मीरी पंडितों की सुरक्षा छोड़कर फिल्म के प्रोमोशन में व्यस्त है. उनके लिए कश्मीरी पंडित सिर्फ वोट बैंक हैं.
ओवैसी ने कहा, मोदी सरकार इतिहास से सबक नहीं ले रही है. सरकार 1989 की तरह ही गलती कर रही है. 1989 में भी राजनीतिक आउटलेट बंद कर दिया गया था और घाटी (कश्मीर) के कश्मीरी नेताओं को बोलने की अनुमति नहीं थी. वे वही गलती कर रहे हैं. उनके नेता दिल्ली में बैठे हुए हैं.
टारगेट किलिंग से खौफ में लोग
अवैसी बोले कि हर रोज टारगेट किलिंग से लोगों में खौफ व्याप्त है और वो अपनी जान के भय की वजह से कश्मीर छोड़ने को मजबूर हो रहे हैं. ये लोग टारगेट किलिंग (Target Killing) से इतने खौफ में हैं कि अपनी ही सरजमी से सामूहिक पलायन इनके लिए अकेला रास्ता बचा है.
4 हजार हिंदू कर्मचारियों ने किया सामूहिक पलायन
गौरतलब है कि घाटी में सरकारी कर्मचारियों को निशाना बनाया जा रहा है. वे प्रदेश सरकार के खिलाफ सड़कों पर उतर आए हैं. घाटी में हिंदू सरकारी कर्मी वी वांट जस्टिस (We want Justice) के नारे लगा रहे हैं. ये करीब 15 साल से कश्मीर घाटी में विभिन्न सरकारी विभागों में कार्यरत है. हाल में कश्मीर घाटी के कुलगाम में आतंकियों द्वारा शिक्षिका रजनी बाला की हत्या के बाद कश्मीर में काम कर रहे करीब 4 हजार ऐसे हिंदू कर्मचारियों ने सामूहिक पलायन किया है. अब वह वापस घाटी नहीं लौटना चाहते.
HIGHLIGHTS
- कहा, सरकार 1989 की तरह ही गलती कर रही है
- मोदी सरकार कश्मीरी पंडितों की सुरक्षा छोड़कर फिल्म के प्रोमोशन में व्यस्त है
Source : News Nation Bureau