कथित जासूसी के आरोप में भारतीय नागरिक कुलभूषण जाधव को फांसी की सजा दिए जाने के बाद भारतीय विदेश मंत्रालय ने पाकिस्तान के राजनायिक अब्दुल बासित को तलब किया है। कुलभूषण जाधव को पाकिस्तान में जासूसी के आरोप में गिरफ्तार किया गया था।
विदेश मंत्रालय ने कहा है, 'अगर जाधव को फांसी दी जाती है तो भारत इसे पूर्व निर्धारित हत्या मनेगा। साथ ही कहा कि पाकिस्तानी कोर्ट में जाधव के खिलाफ स्वांग रचा गया है।'
एमनेस्टी इंटरनेशनल ने पाकिस्तानी कोर्ट के द्वारा कुलभूषण जाधव को दिये गए फांसी की सजा को लेकर विरोध जताया है।
बासित को जारी समन में कहा गया है, 'पाकिस्तान में इंडियन हाईकमीशन को ये बताने की जरूरत भी नहीं समझी गई कि कुलभूषण पर केस चल रहा है।' फांसी की सजा के बाद भारत ने फिर कहा है कि जाधव को ईरान से अगवा किया गया और पाकिस्तान ये बताने में नाकाम रहा कि वो पाकिस्तान कैसे पहुंचे?
वहीं जाधव की फांसी को लेकर पाकिस्तान के रक्षा मंत्री ने कहा है कि यह सजा कानून के तहत दिया गया है। साथ ही उन्होंने जाधव को भारतीय जासूस करार दिया है।
विदेश मंत्रालय ने कुलभूषण जाधव की सजा को लेकर बासित को समन जारी किया और उनकी मौत की सजा को पूर्व निर्धारित हत्या बताया। पाकिस्तान की मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार सोमवार को जनरल कमर जावेद बाजवा ने जाधव की सजा पर मुहर लगाई।
इसे भी पढ़ेंः पाकिस्तान में कथित भारतीय जासूस कुलभूषण जाधव को मौत की सजा
पाकिस्तान की इंटर सर्विसेज पब्लिक रिलेशंस (आईएसपीआर) की ओर से जारी बयान में बताया गया है, 'पाकिस्तानी आर्मी एक्ट के तहत जासूस को फील्ड जनरल कोर्ट मार्शल द्वारा मौत की सजा दी गई थी। आज आर्मी चीफ जनरल कमर जावेद बाजवा ने उनकी मौत की सजा पर मुहर लगा दी है।'
पाकिस्तान में कथित तौर पर विध्वंसक गतिविधियों में शामिल होने को लेकर जाधव को मार्च 2016 में बलूचिस्तान से गिरफ्तार किया गया था। भारत ने जाधव के भारतीय नौसेना से सेवानिवृत्त होने की बात कही थी, लेकिन उनके रॉ एजेंट होने से इनकार किया था।
इसे भी पढ़ेंः भारतीय नागरिक कुलभूषण जाधव की फांसी से भारत-पाक संबंधों को लग सकता है झटका
Source : News Nation Bureau