लंदन की एक अदालत ने सोमवार को आदेश दिया कि भारतीय कारोबारी विजय माल्या (Vijay Mallya) को धोखाधड़ी के आरोपों का सामना करने के लिए ब्रिटेन से भारत प्रत्यर्पित किया जाए. ज़ाहिर है इस आदेश को मोदी सरकार (Modi govenment) के लिए बड़ी उपलब्धि के तौर पर देखा जा रहा है क्योंकि 4 दिस्मबर को अगस्ता-वेस्टलैंड मामले में मुख्य आरोपी क्रिश्चयन मिशेल को सीबीआई दुबई से भारत लेकर आई है.
लंदन की वेस्टमिंस्टर कोर्ट में जज एम्मा अर्बथनॉट ने यह फैसला सुनाया. CBI ने कोर्ट के फैसले का स्वागत किया है. अब माल्या के प्रत्यर्पण का मामला सेक्रटरी ऑफ स्टेट के पास भेज दिया गया है. फैसला आने के बाद इस मामले को ब्रिटेन के गृह विभाग के पास भेज दिया गया है और अब देश के गृह मंत्री को इस पर फैसला लेना है. हालांकि माल्या 14 दिन के अंदर इस फैसले को ब्रिटिश उच्च न्यायालय में चुनौती देने वाले हैं.
इस फ़ैसले के बाद सीबीआई ने अपनी प्रतिक्रिया में कहा, 'हमें उम्मीद है कि हम जल्द ही माल्या को भारत ले आएंगे और केस समाप्त कर दिया जाएगा. सीबीआई की अपनी निहित शक्ति है. हमने इस केस पर काफी काम किया है. हम क़ानून और फैक्ट्स के आधार पर काफी मज़बूत थे इसलिए हमें भरोसा था कि हम प्त्यर्पण कराने में कामयाब होंगे.'
CBI spokesperson on Vijay Mallya to be extradited to India: We hope to bring him soon and conclude the case. CBI has its own inherent strengths. We worked hard on this case. We are strong on Law and facts and we were confident while pursuing extradition process pic.twitter.com/OqL79Kl2N6
— ANI (@ANI) December 10, 2018
इससे पहले ब्रिटेन कोर्ट में सुनवाई से पहले विजय माल्या ने मीडिया के सवालों का जवाब देते हुए कहा, 'मैने जो कुछ भी कहा है वह कोर्ट के समक्ष कहा है ऐसे में अदालात की अवमानना का सवाल ही नहीं है.' दरअसल मीडिया ने माल्या से पूछा था कि उनके द्वारा रखा गया प्रस्ताव वास्तविक है.'
और पढ़ें- RBI गवर्नर उर्जित पटेल ने अपने पद से दिया इस्तीफ़ा, निजी कारणों का दिया हवाला
बता दें कि विजय माल्या (Vijay Mallya) भारत के कई बैंकों से लगभग 9 हज़ार करोड़ रुपये से अधिक का कर्ज़ लेकर फ़रार हो गया है. विजय माल्या के प्रत्यर्पण को लेकर ब्रिटेन की कोर्ट में सोमवार को अहम सुनवाई होनी है. इससे पहले रविवार को सीबीआई और ईडी की संयुक्त टीम सीबीआई के ज्वाइंट डायरेक्टर ए साई मनोहर के नेतृत्व में ब्रिटेन रवाना हुई थी.
Source : News Nation Bureau