Cabinet Decision On MSP: किसानों को राहत के लिए सरकार ने बड़ा निर्णय लिया है. केन्द्रीय कैबिनेट ने खरीफ फसलों (msp for kharif crops) के एमएसपी (न्यूनतम समर्थन मूल्य) को मंजूरी दे दी है. 2022-23 सीजन के लिए खरीफ फसलों की एमएसपी को मंजूरी दी गई है. फिलहाल 2021-22 के लिए धान का एमएसपी 1940 रुपये प्रति क्विंटल है. इससे पहले, रसायन और उर्वरक मंत्री मनसुख मांडविया ने कहा कि भारत के पास खरीफ के साथ साथ रबी सत्र की उर्वरक की आवश्यकता की जरूरत को पूरा करने के लिए यूरिया का पर्याप्त स्टॉक है और दिसंबर तक इसका आयात करने की आवश्यकता नहीं होगी.
उन्होंने कहा कि अंतरराष्ट्रीय बाजार में उर्वरकों की कीमतों में गिरावट आई है. उम्मीद है कि अगले छह माह में इसके दाम और नीचे जाने वाले हैं. मांडविया ने सोमवार को मीडिया के कहा, ‘‘देश में यूरिया की अच्छी उपलब्धता है. हमारे पास दिसंबर तक घरेलू जरूरतों को पूरा कने के लिए यूरिया के भंडार हैं. हमें दिसंबर तक आयात करने की जरूरत नहीं पड़ेगी.’’ मंत्री ने कहा कि सरकार पहले ही 16 लाख टन यूरिया का आयात कर चुकी है, इसे अगले 45 दिनों में भेज दिया जाएगा.
खरीफ और रबी की फसलों में क्या है अंतर
खरीफ फसलों को गर्म मौसम के साथ उच्च आर्द्रता की जरूरत होती है. खरीफ की फसलों के लिए पानी की खास आवश्यकता होती है. ये फसलें जून-जुलाई में होती हैं. चावल, गन्ना, कपास, हल्दी, मूंगफली आदि खरीफ फसलों में आती हैं. रबी फसलें जाड़ों के मौसम में उगती हैं. यही वजह है रबी फसलों को ठंडी फसल या बसंत ऋतू की फसल भी कहते हैं. यह दिसंबर-जनवरी माह के बीच होती हैं. रबी फसलों की बोवाई अक्टूबर नवंबर में की जाती है जब मौसम थोड़ा गर्म होता है. मगर पौधों के लिए ठंडी का मौसम ही उपयुक्त होता है.
HIGHLIGHTS
- 2022-23 सीजन के लिए खरीफ फसलों की एमएसपी को मंजूरी दी गई है
- फिलहाल 2021-22 के लिए धान का एमएसपी 1940 रुपये प्रति क्विंटल है
Source : News Nation Bureau