नागालैंड विधानसभा चुनाव में सत्तारूढ़ बीजेपी-एनडीपीपी को चुनौती देने के लिए कांग्रेस चुनाव बाद नागा पिपुल्स फ्रंट (एनपीएफ) से हाथ मिला सकती है।
कांग्रेस के एक नेता ने नाम नहीं जाहिर करने की शर्त पर कहा, 'कांग्रेस ने चुनाव पूर्व एनपीएफ से गठबंधन नहीं किया है। लेकिन बीजेपी-एनडीपीपी को सत्ता से बेदखल करने के लिए चुनाव बाद एनपीएफ से गठबंधन को लेकर बैक-चैनल से बातचीत चल रही है।'
वहीं राज्य में कांग्रेस के प्रेक्षक प्रवीण डावर ने कहा कि उत्तर-पूर्व के राज्य में 'धर्मनिरपेक्ष' दल की सरकार बनेगी। उन्होंने दावा किया कि कांग्रेस नागालैंड में 10-12 सीटों पर विजयी पताका लहराएगी।
आपको बता दें कि राज्य विधानसभा में फिलहाल कांग्रेस का एक भी सदस्य नहीं है। करीब दो साल पहले पार्टी के 8 विधायक एनपीएफ में शामिल हो गये थे।
प्रवीण डावर ने कहा, 'हम इस बार दोहरे अंक में पहुंचेंगे। पार्टी राज्य में निर्णायक भूमिका निभाएगी। यहां के लोग धर्मनिरपेक्ष सरकार चाहते हैं। बीजेपी के खिलाफ लोगों में आक्रोश है।' राज्य में कांग्रेस 15 सालों से सत्ता से बाहर है।
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राज्य की कुल 60 विधानसभा सीटों पर 27 फरवरी को होने वाले चुनाव में एनपीएफ 58 सीटों पर चुनाव लड़ रही है।
वहीं कांग्रेस ने 23 सीटों पर चुनाव लड़ने का ऐलान किया था। हालांकि बाद में 5 उम्मीदवारों ने अपना नामांकन वापस ले लिया। अब पार्टी 18 सीटों पर चुनाव लड़ रही है।
बीजेपी-एनडीपीपी का है गठबंधन
आपको बता दें कि भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी)-नेशनल डेमोक्रेटिक पीपुल्स पार्टी (एनडीपीपी) विधानसभा चुनाव मिलकर लड़ रही है।
नागालैंड के मुख्यमंत्री नेफ्यू रियो ने हाल ही में एनपीएफ से इस्तीफा देकर नई क्षेत्रीय पार्टी एनडीपीपी का गठन किया है। पहले बीजेपी नागालैंड में नागा पीपुल्स फ्रंट (एनपीएफ) नीत डेमोक्रेटिक एलायंस ऑफ नागालैंड (डीएएन) सरकार का हिस्सा थी।
नागालैंड की सत्तारूढ़ पार्टी एनपीएफ भी साल 2003 से नागालैंड में नेशनल डेमोक्रेटिक एलायंस (एनडीए) की सहयोगी पार्टी रही थी।
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Source : News Nation Bureau