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आर्टिकल 370 पर SC के फैसले पर पीएम मोदी बोले- ये आशा की किरण है..

अगस्त 2019 में मोदी सरकार ने जम्मू-कश्मीर से आर्टिकल 370 को खत्म कर दिया था और राज्यो को दो केंद्रशासित प्रदेश में बांट दिया था. केंद्र सरकार के फैसले के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट में 20 से अधिक याचिकाएं दायर थी. इसी पर शीर्ष कोर्ट ने केंद्र के पक्ष में फैसला सुनाया है.

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Prashant Jha
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अनुच्छेद 370 हटाने पर सुप्रीम कोर्ट के फैसले पर पीएम मोदी( Photo Credit : फाइल फोटो)

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SC upholds abrogation of Article 370 : सुप्रीम कोर्ट ने जम्मू कश्मीर से आर्टिकल 370 हटाने के मोदी सरकार के फैसले को सही ठहराया है. सुप्रीम कोर्ट के फैसले पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आभार जताया है. फैसले पर पीएम मोदी ने कहा कि यह ऐतिहासिक है और शीर्ष कोर्ट ने संसद के बहुमत को बरकरार रखा. एकता के सार को मजबूत रखा. ये फैसला सिर्फ कानूनी फैसला नहीं. बल्कि ये आशा की किरण है. फैसला उज्जवल भविष्य का वादा है फैसला एक भारत के संकल्प का परिणाम है. वहीं, केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह ने भी अनुच्छेद 370 पर सुप्रीम कोर्ट के फैसले का स्वागत किया. उन्होंने कहा कि अनुच्छेद 370 हटाना संवैधानिक है. वहीं, जम्मू-कश्मीर को मुख्यधारा में लाने के लिए फैसला किया गया है. 

इधर शिवसेना (UTB) के प्रमुख उद्धव ठाकर ने भी सुप्रीम कोर्ट के फैसले को स्वागत किया है. उद्धव ठाकरे ने कहा कि हमने धारा 370 को हटाने का समर्थन किया है.  हमें उम्मीद है कि जम्मू-कश्मीर में जल्द से जल्द चुनाव होंगे. चुनाव से पहले अगर पीओके शामिल होता है, तो यह अभ्यास पूरे कश्मीर में आयोजित किया जा सकता है.

30 सितंबर 2024 तक चुनाव हों- सुप्रीम कोर्ट

बता दें कि सुप्रीम कोर्ट ने अपने फैसले में कहा कि राष्ट्रपति को आर्टिकल 370 हटाने का अधिकार है. अनुच्छेद 370 को हटाने का फैसला संवैधानिक तौर पर वैध है. किसी दुर्भावना से इसे नहीं हटाया गया है. अब से संविधान के सभी प्रावधान जम्मू कश्मीर पर लागू होते हैं.  पांच जजों की बेंच ने केंद्र को जम्मू कश्मीर में जल्द चुनाव कराने के निर्देश दिए.  30 सितंबर 2024 तक जम्मू कश्मीर में चुनाव हो जाने चाहिए. राज्य का दर्जा जल्द से जल्द मिलना चाहिए. 

घाटी में अभूतपूर्व परिवर्तन- केंद्र सरकार

केंद्र सरकार ने सुप्रीम कोर्ट ने अपनी दलील पेश की कि अगर अनुच्छेद 370 को नहीं हटाया जाता तो इसका विनाशकारी प्रभाव हो सकता था. केंद्र ने तर्क दिया कि एकीकरण के लिए विलय जरूरी था. नहीं तो यहां पर एक इंटरनल संप्रभुता थी. उसे हटाना जरूरी हो गया था. केंद्र सरकार ने आगे बताया कि हमने संविधान से कोई जानकारी नहीं छिपाई है.  370 हटने से घाटी में अभूतपूर्व परिवर्तन देखने को मिला है. दशकों से जो वहां अशांति उथलपुथल का माहौल था वो अब शांत है. 

Source : News Nation Bureau

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