राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने बुधवार को जस्टिस यूयू ललित को देश के अगले मुख्य न्यायाधीश के रूप में नियुक्ति पर हस्ताक्षर की. वे 27 अगस्त को पद एवं गोपनीयता की शपथ लेंगे. हालांकि, 49वें CJI के रूप में जस्टिस जस्टिस यूयू ललित का कार्यकाल अपेक्षाकृत कम ही छोटा होगा. यानी वे मात्र तीन महीने के करीब ही इस पद पर आसीन रह पाएंगे. दरअसल, उन्हें 8 नवंबर 2022 को सेवानिवृत्त होना है. 26 अगस्त 2022 को अपने पद से रिटायर होने जा रहे सीजेआई एन रमना ने अगले सीजेआई के लिए जस्टिस यूयू ललित के नाम की अनुशंसा की थी.
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बार से सीजेआई बनने वाले दूसरे शख्स हैं जस्टिस यूयू ललित
जस्टिस ललित बार से सीधे सुप्रीम कोर्ट में पदोन्नत होने वाले दूसरे सीजेआई होंगे. इससे पहले पहले जस्टिस एसएम सीकरी थे, जो जनवरी 1971 में 13वें CJI बने थे. 13 अगस्त, 2014 को सर्वोच्च न्यायालय के न्यायाधीश के रूप में उनकी पदोन्नति से पहले, न्यायमूर्ति ललित सर्वोच्च न्यायालय में एक वरिष्ठ अधिवक्ता थे। उनके पिता न्यायमूर्ति यूयू ललित एक वरिष्ठ अधिवक्ता थे और बॉम्बे उच्च न्यायालय के अतिरिक्त न्यायाधीश थे।
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सीजेआई रमन ने की थी यूयू ललित के नाम की अनुशंसा
गौरतलब है कि 3 अगस्त 2022 को भारत के मुख्य न्यायाधीश एनवी रमना के सचिवालय को केंद्रीय कानून और न्याय मंत्री किरेन रिजिजू से एक पत्र प्राप्त हुआ था, जिसमें उनसे अगले सीजेआई के नाम की सिफारिश करने का अनुरोध किया गया था. इसके अगले ही दिन सीजेआई रमना ने परंपरा के अनुसार भारत के अगले मुख्य न्यायाधीश के रूप में सर्वोच्च न्यायालय के दूसरे सबसे वरिष्ठ न्यायाधीश न्यायमूर्ति यूयू ललित के नाम की सिफारिश करते हुए केंद्र सरकार को वापस पत्र लिखा था, जिसे स्वीकार करते हुए कानून मंत्रालय ने अगले सीजेआई के लिए यूयू ललित का नाम राष्ट्रपति के पास भेज दिया था, जिसे राष्ट्रपति ने भी अपनी मंजूरी देदी है.
Source : News Nation Bureau