किसान आंदोलन पर एक बार फिर सत्ता पक्ष और विपक्ष के बीच तलवारें खिंच आई हैं. एक तरफ सरकार का कहना है कि किसानों को बरगला कर निहित स्वार्थवश उन्हें सड़कों पर उतारा गया है. वहीं कांग्रेस समेत आम आदमी पार्टी और अन्य विपक्ष का कहना है कि किसान बिल वास्तव में अन्नदाताओं के हितों के खिलाफ हैं. विपक्ष का कहना है कि किसानों को भंवर जाल में फंसाने के बाद अब उन पर शक्ति प्रदर्शन किया जा रहा है. प्रियंका गांधी समेत अरविंद केजरीवाल ने गुरुवार को ट्वीट कर किसानों को रोकने के प्रयासों को शक्ति प्रदर्शन करार दे सरकारी नीतियों की निंदा की. इस बीच बीजेपी किसान मोर्चा के नेता राजकुमार चाहर ने दो टूक कहा है कि किसानों को बरगलाया गया है.
किसानों से समर्थन मूल्य छीनने वाले कानून के विरोध में किसान की आवाज सुनने की बजाय भाजपा सरकार उन पर भारी ठंड में पानी की बौछार मारती है।
— Priyanka Gandhi Vadra (@priyankagandhi) November 26, 2020
किसानों से सबकुछ छीना जा रहा है और पूंजीपतियों को थाल में सजा कर बैंक, कर्जमाफी, एयरपोर्ट रेलवे स्टेशन बांटे जा रहे हैं। #FarmersProtest pic.twitter.com/al8dG8ZZhi
प्रियंका ने कहा-पूंजीपतियों के साथ...किसान विरोधी है मोदी सरकार
कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी वाड्रा ने गुरुवार को हरियाणा पुलिस द्वारा शंभू सीमा पर आंदोलनकारी पंजाब के किसानों को तितर-बितर करने के लिए पानी की बौछारें और आंसू गैस का इस्तेमाल करने के लिए नरेंद्र मोदी सरकार की खिंचाई की. किसान विवादित कृषि कानूनों का विरोध करने के लिए दिल्ली तक मार्च निकाल रहे थे. हिंदी में एक ट्वीट में, प्रियंका ने कहा, कृषि कानूनों पर किसानों की आवाज सुनने के बजाय भाजपा सरकार ठंड के मौसम में उन पर पानी की बौछारें कर रही है. किसानों से सब कुछ छीना जा रहा है और सरकार बैंकों से ऋण छूट, हवाई अड्डे, रेलवे स्टेशन पूंजीपतियों को दे रही है. उन्होंने प्रदर्शनकारी किसानों पर हो रही पानी की बौछारों का एक वीडियो भी ट्वीट किया.
केंद्र सरकार के तीनों खेती बिल किसान विरोधी हैं। ये बिल वापिस लेने की बजाय किसानों को शांतिपूर्ण प्रदर्शन करने से रोका जा रहा है, उन पर वॉटर कैनन चलाई जा रही हैं। किसानों पर ये जुर्म बिलकुल ग़लत है। शांतिपूर्ण प्रदर्शन उनका संवैधानिक अधिकार है।
— Arvind Kejriwal (@ArvindKejriwal) November 26, 2020
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सुरजेवाला ने भी साधा दिल्ली 'दरबार' पर निशाना
कांग्रेस महासचिव रणदीप सिंह सुरजेवाला ने भी सरकार की खिंचाई की और हिंदी में एक ट्वीट में कहा, मोदीजी, कब से दिल्ली 'दरबार' को देश के किसानों से खतरा हो गया? किसानों को रोकने के लिए सरकार ने अपने बेटों को जवानों के रूप में तैनात किया है. भारत-चीन सीमा पर यदि इसी तरह की सतर्कता अपनाई जाती, तो चीन हमारी जमीन पर घुसपैठ करने की हिम्मत नहीं करता. आपकी प्राथमिकताएं हमेशा गलत क्यों होती हैं? गौरतलब है कि किसानों ने इस साल सितंबर में संसद में पारित किए गए कृषि कानूनों का विरोध करने के लिए दिल्ली तक मार्च करने की घोषणा की है. किसान इन कानूनों को रद्द करने की मांग कर रहे हैं.
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बिल किसान विरोधी बता केजरीवाल ने कहा प्रदर्शन से न रोकें किसानों को
कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी के ट्वीट के बाद दिल्ली के मुख्यमंत्री और आप प्रमुख अरविंद केजरीवाल ने भी किसान आंदोलन पर मोदी सरकार पर निशाना साधा. केजरीवाल ने गुरुवार को ट्वीट कर कहा. 'केंद्र सरकार के तीनों खेती बिल किसान विरोधी हैं. ये बिल वापिस लेने की बजाय किसानों को शांतिपूर्ण प्रदर्शन करने से रोका जा रहा है, उन पर वॉटर कैनन चलाई जा रही हैं. किसानों पर ये जुर्म बिलकुल ग़लत है. शांतिपूर्ण प्रदर्शन उनका संवैधानिक अधिकार है.' गौरतलब है कि अंबाला के पास शंभू बॉर्डर पर इकट्ठा हुए किसानों को तितर-बितर करने के लिए पुलिस ने वाटर कैनन का इस्तेमाल किया. हरियाणा पुलिस ने किसानों को दिल्ली पहुंचने से रोकने के लिए अंबाला और कुरुक्षेत्र में राष्ट्रीय राजमार्ग पर पानी की बौछारों का भी उपयोग किया.
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बीजेपी ने कहा किसानों को बरगला निहित राजनीति कर रहा विपक्ष
इस बीच बीजेपी किसान मोर्चा के अध्यक्ष औऱ सांसद राजकुमार चाहर ने किसान आंदोलन पर कहा कि किसानों को बरगलाया गया है. राजनीतिक कारणों से झूठ बोलकर उन्हें सड़क पर उतारने की कोशिश की गई है, जिसके पीछे मंडी की राजनीति भी है. प्रियंका गांधी ने गलत ट्वीट किया है. उन्होंने झूठ बोला है. प्रियंका गांधी ने पढ़ा ही नहीं है. न्यूनतम समर्थन मूल्य को लेकर कहीं कोई शंका नहीं है. प्रियंका गांधी गलत बोल कर राजनीति कर रही हैं. पंजाब की सरकार अपने वायदे से ध्यान भटकाने के लिए कुछ किसानों को भड़काया है.