Rahul Gandhi Tweet On Manipur : मणिपुर में पिछले दो महीनों से बहुसंख्यक मैतेई और कुकी समुदाय के बीच तनाव है. ये तनाव हिंसा में बदल गया है, जिसमें अबतक 100 से अधिक लोगों की जान चली गई है. हिंसा की जद में आए कई लोगों का पलायन भी हुआ है. इस बीच कांग्रेस के पूर्व राष्ट्रीय अध्यक्ष राहुल गांधी गुरुवार को दो दिवसीय दौरे पर मणिपुर पहुंचे हैं. इसके बाद राहुल ने मणिपुर को लेकर वीडियो के साथ ट्वीट किया है.
मणिपुर की राजधानी इंफाल पहुंचे कांग्रेस नेता राहुल गांधी (Rahul Gandhi Tweet) ने ट्वीट कर कहा कि मैं मणिपुर के अपने सभी भाइयों और बहनों को सुनने आया हूं. यहां सभी समुदायों के लोग बहुत स्वागत और प्यार कर रहे हैं. यह बहुत दुर्भाग्यपूर्ण है कि यहां मुझे सरकार रोक रही है. मणिपुर को उपचार की जरूरत है. शांति ही हमारी एकमात्र प्राथमिकता होनी चाहिए. राहुल गांधी ने ट्वीट के साथ एक वीडियो भी शेयर किया है.
भारतीय जनता पार्टी के राष्ट्रीय प्रवक्ता संबित पात्रा ने राहुल गांधी पर पटलवार किया है. उन्होंने कहा कि जिस जिद के साथ राहुल गांधी मणिपुर गए हैं वो जिद उचित नहीं है. जिद से संवेदनशीलता कहीं ज्यादा महत्वपूर्ण है. मणिपुर में जब हालात ऐसे हैं तो थोड़ी संवेदनशीलता होनी चाहिए, जिद नहीं. हम एक लोकतांत्रिक देश हैं, किसी ने राहुल गांधी को मणिपुर जाने से नहीं रोका, लेकिन प्रशासन ने कहा कि राज्य में राहुल गांधी के मणिपुर दौरे की खबर के बीच बहुत विरोध प्रदर्शन हुआ है.
यह भी पढ़ें : कांग्रेस के चौखट पर बैठे 'वो'... बिहार में अमित शाह की ललकार से चित्त हुआ विपक्ष
I came to listen to all my brothers and sisters of Manipur.
— Rahul Gandhi (@RahulGandhi) June 29, 2023
People of all communities are being very welcoming and loving. It’s very unfortunate that the government is stopping me.
Manipur needs healing. Peace has to be our only priority. pic.twitter.com/WXsnOxFLIa
आपको बता दें कि राहुल गांधी गुरुवार को हिंसाग्रस्त लोगों से मिलने के लिए मणिपुर पहुंचे. काफी बवाल के बाद वे हेलीकॉप्टर से चुराचांदपुर पहुंचे और यहां राहत शिविरों में मौजूद हिंसा प्रभावित लोगों से मुकालात की. इस बीच कांग्रेस ने कहा कि भाजपा की सरकार ने पुलिस लगाकर उनके रास्ते को रोक दिया है. इसे लेकर मणिपुर कांग्रेस अध्यक्ष कीशम मेघचंद्र ने कहा कि राहुल गांधी का मोइरांग दौरा कैंसिल हो गया है. प्रशासन ने उन्हें न तो सड़क से और न ही हवाई रास्ते से मोइरांग आने की मंजूरी दी है. वह केवल चुराचांदपुर में ही हिंसा प्रभावित लोगों से मिल सके. वह इंफाल लौट रहे हैं और रात में वहीं रहेंगे. यह स्पष्ट नहीं है कि वह शुक्रवार के लिए निर्धारित अपनी यात्राओं को जारी रख पाएंगे या नहीं.