देश की संसद की कार्यवाही देखने के लिए अभी तक आप दो अलग-अलग चैनलों पर जाते थे. मतलब यदि आपको लोकसभा की कार्यवाही देखनी होती थी तो आप लोकसभा टीवी देखते थे. और यदि आपको राज्यसभा की कार्यवाही देखनी होती थी, तो आप राज्यसभा टीवी देखते थे. लेकिन अब आपको संसद की कार्यवाही देखने के लिए दो अलग-अलग चैनलों का रुख नहीं करना पड़ेगा. क्योंकि केंद्र सरकार ने लोक सभा टीवी और राज्य सभा टीवी को मिलाकर एक चैनल बनाने का बड़ा फैसला लिया है. इस नए चैनल का नाम संसद टीवी होगा. संसद टीवी के पैनल के गठन का काम भी शुरु हो गया है. रिटायर आईएएस अधिकारी रवि कपूर को अगले आदेश तक या एक साल के लिए संसद टीवी का चीफ एग्जीक्यूटिव ऑफिसर (CEO) बनाया गया है. रवि कपूर इससे पहले पेट्रोलियम और टेक्सटाइल जैसे कई अहम मंत्रालयों में अपनी सेवाएं दे चुके हैं.
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जानकारी के मुताबिक लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला और राज्यसभा के सभापति एम. वैंकेया नायडू के संयुक्त निर्णय के बाद ही इन दोनों चैनलों का आपस में विलय किया गया है. इस विलय के बारे में पिछले साल जून के महीने में सूचना दी गई थी जबकि सोमवार को राज्यसभा सचिवालय के कार्यालय द्वारा आधिकारिक रूप से इसकी घोषणा की गई. दोनों चैनलों के विलय के लिए पिछले साल नवंबर में लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला और राज्यसभा के सभापति एम. वैंकेया नायडू ने एक पैनल का गठन किया था. और इसी पैनल की सिफारिशों पर इस निर्णय को लिया गया है.
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बता दें कि लोकसभा टीवी चैनल की शुरुआत साल 1989 में हुई थी. जबकि राज्यसभा टीवी को साल 2011 में शुरु किया गया था. इन दोनों चैनलों पर अभी तक सदन की लाइव कार्यवाही के प्रसारण के अलावा हिंदी और अंग्रेजी भाषा में कई कार्यक्रमों का प्रसारण किया जा रहा था. इसके अलावा सरकार द्वारा चलाई जा रही योजनाओं के विषय में भी इन चैनलों पर विस्तार से जानकारी दी जाती थी.
HIGHLIGHTS
- IAS रवि कपूर बने पहले CEO
- एक साल तक रहेगा CEO का कार्यकाल
- रवि कपूर कई मंत्रालयों में अपनी सेवाएं दे चुके हैं
Source : News Nation Bureau