दिल्ली हाई कोर्ट ने दाती महाराज और अन्य को दुष्कर्म मामले में उन्हें दी गई अग्रिम जमानत को रद्द करने की सीबीआई की मांग वाली याचिका पर जवाब दाखिल करने को कहा है. दाती महाराज और अन्य को जनवरी में एक निचली अदालत ने जमानत दी थी. न्यायमूर्ति चंद्र शेखर ने दाती महाराज व उनके तीन सहयोगियों को नोटिस जारी किया. उन्होंने मामले की अगली सुनवाई 26 अगस्त को तय की.
इससे पहले उच्च न्यायालय ने जांच को दिल्ली पुलिस से केंद्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआई) को स्थानांतरित करने का आदेश दिया था.
दाती महाराज उर्फ दाती मदन लाल राजस्थानी और अशोक, अर्जुन और अनिल को उनके फतेहपुर बेरी आश्रम में 9 जनवरी 2016 को 25 साल की महिला के साथ दुष्कर्म के आरोप में सीबीआई की प्राथमिकी में नामित किया गया है. दिल्ली पुलिस ने जून 2018 में दिल्ली की पीड़िता की शिकायत पर मामला दर्ज किया था और बाद में दाती महाराजऔर अन्य पर आरोपपत्र दायर किया.
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यह मामला तब प्रकाश में आया जब पीड़ित महिला ने दिल्ली के शनिधाम न्यास के संस्थापक के खिलाफ उसके साथ दुष्कर्म और अप्राकृतिक यौन संबंध बनाने का आरोप लगाते हुए मुकदमा दर्ज करवाया. दिल्ली पुलिस ने मामले में एक अक्टूबर को दाती महाराज व अन्य के खिलाफ आरोपपत्र दाखिल किया था.
Source : IANS