बॉलीवुड अभिनेत्री कंगना रनौत (Kangana Ranaut) के खिलाफ बीएमसी (BMC) की कार्रवाई को लेकर महाराष्ट्र सरकार और शिवसेना (Shivsena) बैकफुट पर हैं. बीएमसी की इस कार्रवाई को लेकर चारों ओर से निंदा की जा रही है. कल तक कंगना को धमकी देने वाले शिवसेना नेता संजय राउत के सुर भी कुछ नरम दिख रहे हैं. उन्होंने कहा कि कंगना के खिलाफ कार्रवाई बीएमसी की टीम ने की है. जब उनसे कंगना को लेकर सवाल किए गए तो वह भाग खड़े हुए. उन्होंने कहा कि कंगना के खिलाफ कार्रवाई का शिवसेना से कोई लेनादेना नहीं है.
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वहीं दूसरी तरफ कंगना के ऑफिस पर बुलडोजर चलाए जाने के बाद चौतरफा आलोचना झेल रही उद्धव ठाकरे की सरकार से अब महाराष्ट्र के राज्यपाल भगत सिंह कोश्यारी (Bhagat Singh Koshyari) भी खफा हो गए हैं. राजभवन वरिष्ठ सूत्रों ने बताया कि राज्यपाल भगत सिंह कोश्यारी (Governor Bhagat Singh Koshyari) ने उद्धव ठाकरे को कल बुलाया था और कंगना रनौत पर कार्रवाई को लेकर जानकारी ली थी. सूत्रों ने बताया कि कल दोपहर साढ़े चार बजे उद्धव ठाकरे (Uddhav Thackeray) राज्यपाल से मिले और करीब 20 मिनट बातचीत हुई. कंगना के मुद्दे के साथ साथ और मुद्दों पर भी चर्चा हुई. कहा यह भी जा रहा है कि इस मसले पर गवर्नर एक रिपोर्ट केंद्र सरकार को पेश करने की भी योजना बना रहे हैं.
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उल्लेखनीय है कि शिवसेना शासित बृहन्मुंबई महानगरपालिका (बीएमसी) ने बुधवार को अभिनेत्री कंगना रनौत (Kangana Ranaut) के बांद्रा स्थित बंगले में कथित अवैध हिस्से को गिरा दिया था. बाद में बम्बई उच्च न्यायालय ने इस प्रक्रिया पर रोक लगाने का आदेश दिया, लेकिन तब तक बीएमसी अभिनेत्री के बंगले के कथित अवैध हिस्सों में से अधिकतर को गिरा चुकी थी. बीएमसी (BMC) ने जमीन और संपत्ति की पहली मंजिल पर किए गए अधिकांश कथित अवैध निर्माण को गिरा दिया था. इनमें भूतल पर एक शौचालय और पहली मंजिल पर एक बैठक कक्ष शामिल था.
Source : News Nation Bureau