सुप्रीम कोर्ट ने गुजरात कैडर के आईपीएस राकेश अस्थाना को सीबीआई में स्पेशल डायरेक्टर बनाए जाने के खिलाफ दायर याचिका को ख़ारिज कर दिया है।
कॉमन कॉज नाम के एनजीओ ने याचिका दायर कर आरोप लगाया था कि अस्थाना का नाम भ्रष्टाचार के एक मामले में सामने आया है।
एनजीओ का कहना था कि क्योंकि अस्थाना का नाम भ्रष्टाचार के मामले में सामने आया है, इसलिए उन्हें पद देने पर सीबीआई निदेशक ने भी एतराज़ जताया था, हालांकि इसे दरकिनार कर उनकी नियुक्ति कर दी गई।
इस मामले की सुनवाई करते हुए सुप्रीम कोर्ट ने यह याचिका मंगलवार को खारिज कर दी। कोर्ट में सुनवाई के दौरान सरकार और याचिकाकर्ता ने अपनी दलीलें रखीं थी जिसके बाद उच्चतन न्यायालय ने यह फैसला लिया।
याचिकाकर्ता की दलीलें
याचिकाकर्ता की ओर से वरिष्ठ वकील प्रशांत भूषण ने दलीलें रखते हुए कहा, 'अस्थाना की नियुक्ति गैरकानूनी और मनमाने तरीके से की गई है।'
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प्रशांत भूषण ने कोर्ट को बताया, 'स्टर्लिग बायोटेक लिमिटेड के ऑफिस पर मारे गए इनकम टैक्स के छापों में एक डायरी मिली जिसमें उनका नाम सामने आया। इस डायरी में दर्शाया गया है कि कैसे अस्थाना ने रिश्वत ली और सीबीआई ने मनी लॉन्ड्रिंग के मामले में इस कंपनी और पब्लिक सर्वेंट के खिलाफ एफआईआर दर्ज की है।'
उन्होंने दलील रखी, 'इनके चयन पर सीबीआई निदेशक ने भी आपत्ति जाहिर की थी, लेकिन उनकी राय को नजरअंदाज कर नियुक्ति की गई।'
सरकार की दलीलें
इस मामले में केंद्र सरकार की ओर से अटॉनी जनरल के के वेणुगोपाल ने याचिका का विरोध किया। उन्होंने कहा, 'सीबीआई की एफआईआर में राकेश अस्थाना का कहीं नाम नही है। उनका चयन सबकी सहमति से हुआ है। जिस मामले का हवाला दिया जा रहा है, उसकी वजह से नियुक्ति नहीं रोकी जा सकती।'
वेणुगोपाल ने दलील रखी कि, 'सिर्फ डायरी में नाम होना नियुक्ति रोकने का आधार नहीं हो सकता। राकेश अस्थाना का एक बेदाग और शानदार करियर रहा है। उन्होंने कोयला घोटाला, किंगफिशर एयरलाइन, अगस्तावेस्टलैंड घोटाला, ब्लैक मनी जैसे सनसनीखेज मामलों की जांच की निगरानी की है।'
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इससे पहले इस मामले में सुप्रीम कोर्ट ने पिछली सुनवाई में (24 नवंबर को) फैसला सुरक्षित रख लिया था। इस मामले में आज सुनवाई के बाद जस्टिस आर के अग्रवाल और जस्टिस अभय मनोहर सप्रे की बेंच ने यह फैसला सुनाया है।
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HIGHLIGHTS
- CBI स्पेशल डायरेक्टर अस्थाना की नियुक्ति पर दायर याचिका SC ने खारिज की
- अस्थाना की नियुक्ति के खिलाफ दायर की गई थी याचिका
- कॉमन कॉज नाम के एनजीओ ने सुप्रीम कोर्ट में लगाई थी अर्जी
Source : News Nation Bureau