पूर्व आरजेडी सांसद मोहम्मद शहाबुद्दीन की जमानत रद्द कराने वाली दो याचिकाओं पर सोमवार को सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई हुई। SC ने जमानत पर रोक लगाने से मना किया है। इस मामले में शहाबुद्दीन को सुप्रीम कोर्ट ने एक नोटिस भी जारी किया है। बता दें कि बिहार सरकार और चंद्रकेश्वर प्रसाद ने याचिका दायर की है। तेजाब कांड का आरोपी शहाबुद्दीन 11 साल बाद जमानत से रिहा हुआ था।
बिहार सरकार ने याचिका दायर करते हुए कहा है कि उच्च न्यायालय में राज्य के पक्ष को उचित ढंग से नहीं सुना गया। साथ ही गवाहों की सुरक्षा से संबंधित अदालत द्वारा पहले जताई गई सारी चिंताओं को दरकिनार कर शहाबुद्दीन को जमानत दे दी गई। वहीं, प्रशांत भूषण ने चंदा बाबू की तरफ से याचिका दायर की है। बता दें कि चंदा बाबू के तीन बेटों की हत्या के मामले में शहाबुद्दीन अभियुक्त है। आज कोर्ट में दोनों याचिकाओं पर सुनवाई होगी।
प्रधान न्यायाधीश न्यायमूर्ति टीएस ठाकुर और न्यायमूर्ति एएम खानविलकर की पीठ प्रशांत भूषण की याचिका पर सुनवाई करेगी। अपनी याचिका में चंदा बाबू ने कहा है कि सीवान से चार बार सांसद रहे शहाबुद्दीन पर 58 आपराधिक मामले दर्ज हैं। इनमें से आठ में वो दोषी भी करार कर दिया गया है। वहीं, दो मामलों में उम्रकैद की सजा सुनाई गई है।
Source : News Nation Bureau