कांग्रेस के विद्धान नेताओं में गिने जाने वाले शशि थरूर ने एक ऐसा बयान दिया जिसे अगले ही दिन माफी मांगनी पड़ी. शशि थरूर ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के बांग्लादेश दौरे पर दिए एक संबोधन पर टिप्पणी की थी. थरूर को लगा कि मोदी ने अपने भाषण में पूर्व प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी के योगदान का जिक्र नहीं किया है. शशि थरूर ने शुक्रवार शाम ट्वीट किया कि 'सब जानते हैं कि बांग्लादेश को किसने आजाद कराया.' इस ट्वीट के अगले ही दिन उन्हें अपनी गलती का ऐहसास हो गया. थरूर को एक न्यूज रिपोर्ट से पता चला कि मोदी ने तो इंदिरा का नाम लिया था। शनिवार सुबह उन्होंने अपनी गलती मानते हुए 'सॉरी' लिखा और कहा कि 'जब मैं गलत होता हूं तो स्वीकर करने में कोई समस्या नहीं होती.'
पीएम मोदी पर बसरे थे पीएम मोदी
थरूर के अलावा कांग्रेस के कई नेताओं ने प्रधानमंत्री मोदी पर निशाना साधा. कांग्रेस नेता जयराम रमेश समेत कई नेताओं ने यह कहा था कि मोदी ने इंदिरा गांधी को नजरअंदाज कर दिया. जयराम रमेश ने ट्वीट किया कि "दुखद है कि हमारे प्रधानमंत्री इसे स्वीकार नहीं करेंगे लेकिन 1971 के ऐतिहासिक घटनाक्रम में इंदिरा गांधी का महत्वपूर्ण योगदान था, उनके साथ पीएन हसकर भी थे. मैंने इसे जबर्दस्त जुगलबंदी के बारे में लिखा है जिसका भारत और पूरे उपमहाद्वीप पर इतना असर हुआ." पूर्व राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी के बेटे अभिजीत ने लिखा, "आज पीएम मोदी बांग्लादेश की स्वतंत्रता के 50 वर्ष का समारोह मनाने गए! क्या उन्होंने कभी हमारी पूर्व प्रधानमंत्री श्रीमती इंदिरा गांधी और मेरे पिता स्वर्गीय श्री प्रणब मुखर्जी की भूमिका को स्वीकार किया? शायद इसलिए नहीं क्योंकि उनका अपना राजनीतिक एजेंडा है जिसे पूरा करने के लिए वह बेचैन हैं."
पीएम मोदी ने अपने संबोधन में इंदिरा गांधी का नाम लिया था। जब थरूर को इस बात की जानकारी हुई तो उन्होंने माफी मांग ली और कहा कि केवल हेडलाइन्स पढ़कर उन्होंने ट्वीट कर दिया था.
HIGHLIGHTS
- पीएम मोदी के बांग्लादेश दौरे पर संबोधन को लेकर शशि थरूर ने किया था ट्वीट
- लगाया था आरोप- मोदी ने अपने भाषण में नहीं किया इंदिरा गांधी का कोई जिक्र
- पीएम मोदी ने संबोधन में कहा- इंदिरा गांधी के प्रयास और उनकी भूमिका सर्वविदित