इंडिया बनाम भारत पर बहस छिड़ गई है. कांग्रेस सांसद शशि थरूर भी इस लड़ाई में कूद पड़े हैं. उन्होंने बुधवार को विपक्षी गठबंधन इंडिया को सुझाव दिया कि हम खुद को भारत कह सकते हैं. थरूर ने भारत का फुलफॉर्म भी दिया. शशि थरूर ने कहा, ऐसा करने के बाद शायद सत्ताधारी दल नाम बदलने की कोशिश न करे. कांग्रेस सांसद शशि थरूर ने एक्स के जरिए कहा, हम निश्चित रूप से खुद को एलायंस फॉर बेटरमेंट, हार्मनी एंड रिस्पॉन्सिबल एडवांसमेंट फॉर टुमारो (भारत) कर सकते हैं. इसके बाद शायद सत्ताधारी दल नाम बदलने के खेल पर पाबंदी लगा दें.
इससे पहले बुधवार को शशि थरूर ने वर्ष 2015 की एक और घटना को शेयर किया. एक जनहित याचिका के जरिए देश का नाम इंडिया को सिर्फ भारत रखने की मांग रखी गई थी. इस पर केंद्र ने सुप्रीम कोर्ट से कहा कि भारत के संविधान के आर्टिकल 1.1 में बदलवा कर देश के नाम को बदलने की जरूरत नहीं है.
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शशि थरूर ने क्या कहा?
शशि थरूर ने इस आर्टिकल को शेयर करते हुए कहा कि किसी तरह की टिप्पणी की आवश्यकता नहीं है. संवैधानिक तौर पर इंडिया को भारत कहे जाने को लेकर किसी तरह की आपत्ति नहीं है. ऐसी आशा है कि सरकार इंडिया नाम का पूरी तरह से हटाने की बेवकूफी नहीं करेगी. ये देश की ब्रैंड वैल्यू है. थरूर ने कहा, हमें दोनों नामों का उपयोग रहने देना होगा.
उन्होंने कहा, देश का नाम भारत हो या इंडिया..या फिर दोनों. इस समय देश में इसे लेकर चर्चा जारी है. इस विवाद के बीच एक तथ्य ये है कि हमारे संविधान में दोनों शब्द पहले से हैं. देश के संविधान में India, that is Bharat का पहले से ही जिक्र किया गया है. इंडिया और भारत दोनों ही नाम संविधान में मौजूद है. ये एक दूसरे के पर्यायवाची की तरह है. ऐसे में विवाद क्यों हो रहा?
Source : News Nation Bureau