भारत में जनजीवन मानसून (Monsoon) पर टिका है. भारत की अर्थव्यवस्था कृषि आधारित है, जिसे चलाने में मानसून का सर्वाधिक योगदान रहता है. मानसून से ही भारत का फसली चक्र निर्धारित होता है. भारत के अलग-अलग हिस्सों में अलग-अलग समय बारिश होती है, लेकिन एक समय होता है, जब दक्षिण-पश्मिची मानसून देश के बहुत बड़े हिस्से में एक साथ बरसात कर रहा होता है. कई बार इसके देर होने से या कमजोर पड़ने से देश पर सूखे की मार पड़ती है. हालांकि इस बार मानसून समय से पहले ही आ रहा है. आम तौर पर 1 जून को केरल में बरसने वाले बादल इस बार 5 दिन पहले 27 मई से ही बरसना शुरू कर देंगे. मुंबई में भी मानसून समय से पहले ही जमकर बारिश करने वाला है.
केरल से लेकर मुंबई और अन्य हिस्सों का हाल
मौसम विभाग ने इस साल दक्षिण पश्चिम मॉनसून (South-West Monsoon) जल्द आ रहा है. मॉनसून (Monsoon) इस साल तय समय से 5 दिन पहले ही 27 मई को केरल पहुंच जाएगा. केरल में मानसूनी बरसात सबसे पहले शुरू होती है. फिर ये देश के अन्य हिस्सों की तरफ बढ़ती है. वहीं, केरल की तरह ही मुंबई में भी मॉनसून 3 दिन पहले आ जाएगा. आम तौर पर मुंबई में मानसून 10 जून तक पहुंचता है, लेकिन इस बार 7 जून से ही बादल मुंबई के आसमान पर छा जाएंगे. इसके बाद मानसून महाराष्ट्र के अन्य हिस्सों, मध्य प्रदेश, छत्तीसगढ़ के कुछ हिस्सों और उसी समय गुजरात की तरफ बढ़ेगा.
दिल्ली में मानसून का ये रहेगा हाल
दिल्ली में आम तौर पर 27 जून के आस-पास मानसून पहुंचता है. दक्षिण-पश्चिम मानसून ही पश्चिमी यूपी-हरियाणा के रास्ते दिल्ली में बारिश लाता है. इस बार दिल्ली में भी थोड़ा पहले मानसनू पहुंचने का अनुमान है. चूंकि इस साल ला-नीना का प्रभाव घटा है. इसलिए मानसून में देरी जैसी कोई बात नहीं होने वाली. पिछले दो सालों में ला-नीना के चलते दिल्ली में मानसून के पहुंचने में देरी हुई थी. कई बार मानसून रुक-रुक कर आगे बढ़ा था. लेकिन जब मानसून 13 दिनों की देरी से दिल्ली पहुंचा था, तो जमकर बारिश हुई थी. पिछले साल मानसून दिल्ली में 70 सालों का इतिहास तोड़ने के करीब पहुंच गया था. लेकिन इस बार दिल्ली में 24-25 जून से ही घनघोर बारिश की उम्मीद जताई जा रही है. हालांकि प्री-मानसूनी गतिविधियां कुछ दिन पहले ही शुरू हो जाएंगी.
इस बात अच्छा रहेगा मानसून, किसानों के चेहरे खिलेंगे
पूरे देश में इस साल मानसून (Monsoon) के सामान्य रहने का अनुमान है. मानसून के पूरे 4 महीने 96-104 फीसदी तक बारिश की संभावनाएं जताई जा रही हैं. ऐसे में खरीफ की फसल को काफी फायदा होने वाला है. भारत में इस बार सामान्य मानसूनी बारिश का अनुमान 880.6 मिमी है, जो 96 से 104 प्रतिशत है. कुल मिलाकर इस साल देशभर में अच्छी बारिश होने का अनुमान है.
HIGHLIGHTS
- समय से पहले आ रहा है मानसून
- केरल में 27 मई को मानसून के पहुंचने का अनुमान
- मुंबई में 3 दिन पहले ही पहुंच जाएगा मानसून
Source : Shravan Shukla