बीजेपी सांसद सुब्रमण्यम स्वामी (Subramanian Swamy) अपने विवादित बयानों के लिए जाने जाते हैं. उन्होंने एक बार फिर ऐसा बयान दिया है जिस पर विवाद हो सकता है. नागरिकता संशोधन कानून (Citizenship Amendment Act) का विरोध कर रहे लोगों को लेकर उन्होंने कहा कि प्रदर्शनकारियों को रात दो बजे निकाल कर खुले मैदान में खड़ा कर देना चाहिए. उन्हें तब तक वापस नहीं जाने देना चाहिए जब तक वह अपने टैंट से घर जाने के लिए जारी न हो जाएं.
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इससे पहले सुब्रमण्यम स्वामी ने राष्ट्रद्रोह के मामले में फांसी की सजा पाए पूर्व तानाशाह परवेज मुशर्रफ को भारत की नागरिकता देने की वकालत की थी. वहीं उन्होंने कहा था कि जवाहरलाल नेहरू विश्वविद्यालय (JNU) में कांग्रेस वामपंथी विचारधारा से मिलकर काम करती है. मुझे लगता है कि केंद्र सरकार को जेएनयू 2 साल के लिए बंद कर देना चाहिए. उसके बाद वहां अर्ध सैनिक बलों की तैनाती और विश्वविद्यालय के अंदर थाना बनाना चाहिए. जो अच्छे छात्र हैं उन्हें दिल्ली विश्वविद्यालय में ट्रांसफर कर देना चाहिए. इसके बाद ही जेएनयू के हालात बदल सकते हैं.
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नेशनल हेराल्ड से गांधी परिवार के निशाने पर
नेशनल हेराल्ड मामले में सुब्रमण्यम स्वामी भी एक शिकायतकर्ता हैं. इसमें सोनिया समेत राहुल गांधी और कई कांग्रेसी नेता आरोपी हैं. सुब्रमण्यम स्वामी ने 2012 में नेशनल हेराल्ड की संपत्ति में हेरफेर और भ्रष्टाचार के आरोपों पर सोनिया गांधी, राहुल गांधी के खिलाफ मामला दर्ज कराया था. बीजेपी नेता का आरोप है कि नेशनल हेराल्ड अखबार के स्वामित्व वाली कंपनी एसोशिएटेड जॉर्नल्स लिमिटेड (एजेएल) को 90.25 करोड़ रुपए का ब्याज मुक्त ऋण दिया था.