प्रवर्तन निदेशालय (Enforcement Directorate) तब्लीगी जमात (Tablighi Jamaat) मुख्यालय के अकाउंट समेत 11 बैंक अकाउंट में आर्थिक गड़बड़ी की आशंका के चलते जांच कर रही है. मौलाना साद (Maulana Saad) के छह करीबी लोगों और 18 मोबाइल फोन पर भी नज़र है. 18 मोबाइल्स की पिछले तीन महीने की कॉल डिटेल रिकॉर्ड और लोकेशन की भी छानबीन की जा रही है. अकाउंट में हुए ट्रांजेक्शन की बारीकी से जांच की जा रही है. मौलाना साद के बेटों समेत छह करीबी रिश्तेदारों के पूरे नेटवर्क को खंगाला जा रहा है. जांच के दायरे में कई हवाला ऑपरेटर्स भी हैं, जिनमें से कुछ लोगों से पूछताछ हो चुकी है.
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ED ने तबलीगी जमात के खिलाफ मनी लॉन्ड्रिंग का केस दर्ज कर मौलाना साद के करीबी 3 लोगों से पूछताछ की थी. ये तीनों मरकज से जुड़े हैं और मरकज के वित्तीय मामले देखते है. ED ने 3 और लोगो को आगे पूछताछ में शामिल होने के लिए समन जारी किया है. मौलाना साद से पूछताछ से पहले ईडी की टीम समझना चाहती है कि कैसे मरकज को चलाया जाता था. उसका फाइनेंशियल चेन कैसा है.
ED ने पूछे ये सवाल
- मरकज के पैसों की देखभाल कौन करता था?
- यह पैसे कहां से और कैसे आते हैं?
- क्या यह पैसे डोनेशन के जरिए आते हैं?
- विदेशी फण्ड कैसे आता था?
- विदेशी फाइनेंसर को लोग किस व्यवसाय से हैं?
- पैसे का हिसाब किताब कैसे रखा जाता था?
- ट्रस्ट के अलावा मौलाना साद की कितनी संपत्ति है और ये कैसे अर्जित हुई?
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एक दिन पहले दिल्ली पुलिस की क्राइम ब्रांच ने निजामुद्दीन मरकज के मौलाना साद के शामली डिस्ट्रिक्ट के पास कांधला के फार्म हाउस पर छापेमारी की थी, लेकिन मौलाना साद वहां नहीं मिला. क्राइम ब्रांच के कहने पर मौलाना साद ने अपनी कोरोना जांच भी कराई है. हालांकि, अभी कोरोना जांच की रिपोर्ट नहीं आई है.
मौलाना साद (Maulana Saad) की गलती की वजह से भारत में कोरोना तेजी से फैला. मौलाना साद पर गैर इरादतन हत्या का मामला दर्ज हुआ है. मौलाना साद और उसके रिश्तेदार आलीशान जिंदगी जीते हैं. कांधला में मौलाना साद का आलीशान फार्म हाउस है. मौलाना साद के घर में सुख-सुविधाओं की तमाम चीजें हैं. घर में चारों तरफ कालीन बिछा हुआ है. मौलाना साद को लग्जरी गाड़ियां बेहद ही पसंद है. मौलाना साद को पुरानी चीजों के अलावा पशु पक्षियों को घर में रखने का शौक है.
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तबलीगी जमात (Tablighi Jamaat) के 56 साल वर्षीय मुखिया का पूरा नाम मौलाना साद कांधलवी है. साद का जन्म 10 मई सन 1965 में हुआ था. मौलान साद की शिक्षा हजरत निजामुद्दीन के मरकज के मदरसा काशिफुल उलूम से हुई.
नवंबर 16, 2015 को मौलाना साद तबलीगी जमात के 'अमीर' बने जो कि दुनिया के करीब 150 देशों में फैली है.
Source : Rummanullah