तेलंगाना में कांग्रेस के 12 विधायक तेलंगाना राष्ट्र समिति (टीआरएस) में शामिल होने जा रहे हैं. विधानसभा अध्यक्ष से कांग्रेस विधायक दल (सीएलपी) का सत्तारूढ़ टीआरएस में विलय का आग्रह किया है. जिसे तेलंगाना विधानसभा ने स्वीकार कर लिया है. विधानसभा के इस फैसले के खिलाफ आज यानी शनिवार को तेलंगाना कांग्रेस ने 36 घंटे का भूख हड़ताल किया है. धरना चौक पर कांग्रेस भूख हड़ताल पर बैठ गए हैं.
बता दें कि तेलंगाना सदन में मुख्य विपक्षी कांग्रेस के 12 सदस्य हैं. उन्होंने विधानसभा अध्यक्ष पी. श्रीनिवास रेड्डी से मुलाकात की और टीआएएस में सीएलपी में विलय को लेकर एक पत्र सौंपा. वह बाद में मुख्यमंत्री के चंद्रशेखर राव के आधिकारिक आवास प्रगति भवन गए.
11 विधायकों ने पहले ही टीआरएस में शामिल होने की घोषणा कर दी थी. बाद में तांडू विधानसभा क्षेत्र के रोहित रेड्डी ने भी टीआरएस में शामिल होने की घोषणा कर दी.
कांग्रेस ने टीआरएस पर साधा निशाना
अपने साथियों से मिले धोखे को लेकर कांग्रेस ने कहा कि जिस तरह से जनादेश और लोकतांत्रिक मूल्यों को कुचला जा रहा है, भारतीयों को यह देखने की आदत नहीं है. यह दिन-दहाड़े लोकतंत्र की हत्या है. क्योंकि कोई सत्ता में है, उसके पास संसाधन है और एजेंसियों को नियंत्रित कर सकता है तो इसका मतलब यह नहीं है कि सत्ता का दुरुपयोग किया जाए.
कांग्रेस नेता पवन खेरा ने कहा कि ये विधायक मतदाताओं द्वारा चुने गए थे जिन्होंने टीआरएस को खारिज कर दिया था और कांग्रेस के लिए वोट किया था. यह लोगों के जनादेश की हत्या है. भारत कभी भी इस दिनदहाड़े लोकतंत्र की हत्या को नहीं भूलेगा.