बेंगलुरु से मैसूर की दूरी अब मात्र 75 मिनट की होगी. यह सफर पहले तीन घंटे में पूरा होता था. गौरतलब है कि कर्नाटक में बने बेंगलुरु-मैसूर एक्सप्रेसवे से दो शहरों के बीच का सफर अब कम हो गया है. केंद्र सरकार की महत्वकांक्षी स्कीम भारतमाला परियोजना के तहत इसका विकास किया गया है. इस एक्सप्रेसवे का उद्घाटन पीएम नरेंद्र मोदी ने 12 मार्च को करेंगे. केंद्रीय सड़क एंव परिवहन मंत्री ने एक ट्वीट के जरिए इस बात की जानकारी दी. बेंगलुरु-मैसूर एक्सप्रेसवे को 8478 करोड़ रुपये लागत से तैयार किया गया है.
कई शहरों को इसका लाभ होगा
कर्नाटक (Karnataka) की आर्थिक राजधानी बेंगलुरु है तो मैसूर (Mysuru) यहां की सांस्कृतिक राजधानी है. इन दो बड़े शहरों के साथ यह हाईवे श्रीरंगपटना, कूर्ग, ऊटी और केरल के कुछ भागों को भी जोड़ रहा है. पूरे हाईवे को खास एक्सेस-कंट्रोल सुविधा के तहत डिजाइन किया गया है. पूरे हाईवे के दोनों ओर सर्विस रोड बनाया गया है.
The 118 Km long #Bengaluru_Mysuru_Expressway is featuring 6 main carriageway lanes and 2 service road lanes on either side, developed at a cost of ₹8478 Cr as part of the Bharatmala Pariyojana.#PragatiKaHighway #GatiShakti pic.twitter.com/WqKlyzmgdP
— Nitin Gadkari (@nitin_gadkari) March 7, 2023
केंद्रीय सड़क एवं परिवहन मंत्री नितिन गडकरी ने ट्वीट करते हुए बताया कि इस एक्सप्रेसवे को 8478 करोड़ रुपये की लागत से तैयार किया गया है. 118 किलोमीटर लंबे एक्सप्रेसवे से कर्नाटक के दो अहम शहरों के बीच की दूरी घटेगी. इस एक्सप्रेसवे के जरिए मात्र 75 मिनट में बेंगलुरु से मैसूर पहुंचा जा सकेगा, जो पहले करीब तीन घंटे थी. कूर्ग, ऊटी और केरल के क्षेत्रों में पहुंचना अब आसान होगा. इससे पयर्टन क्षेत्र को बढ़ावा मिलेगा.
नितिन गडकरी ने भारत माला परियोजना के तहत कई बड़े कदम उठाए हैं. देश में वे सड़कों की स्थिति में सुधार लाने का प्रयास कर रहे हैं. उत्तर से लेकर दक्षिण तक कई राजगार्गों का निर्माण किया जा रहा है. इस तरह से व्यापार में आने वाली दिक्कतों को दूर करने का प्रयास हो रहा है. यात्रा का समय बचाने और जाम से मुक्ति के लिए भी इन सड़कों को निर्माण तेजी से चल रहा है.