दिल्ली के अलावा देश की इन 10 बड़ी आगजनी की घटनाओं से भी दहल उठे थे लोग, जानें यहां

दिल्ली में अनधिकृत बैग मैन्युफैक्चरिंग फैक्टरी में रविवार को लगी आग में 43 लोगों की मौत हो गई और बहुत से दूसरे लोग अपने जीवन के लिए संघर्ष कर रहे हैं.

author-image
Deepak Pandey
New Update
दिल्ली के अलावा देश की इन 10 बड़ी आगजनी की घटनाओं से भी दहल उठे थे लोग, जानें यहां

देश की 10 बड़ी आगजनी की घटनाएं( Photo Credit : न्यूज स्टेट)

Advertisment

दिल्ली में अनधिकृत बैग मैन्युफैक्चरिंग फैक्टरी में रविवार को लगी आग में 43 लोगों की मौत हो गई और बहुत से दूसरे लोग अपने जीवन के लिए संघर्ष कर रहे हैं. यह घटना बीते 25 सालों में देश में हुई आग दुर्घटनाओं में सबसे गंभीर है. ये आग की 10 घटनाएं हैं, जिसने बीते 25 सालों में देश को हिला दिया.

23 दिसंबर, 1995-डबवाली-हरियाणा

23 दिसंबर 1995 को हरियाणा के डबवाली स्थित स्कूल में आग लगने से स्कूल के बच्चों समेत 442 लोगों की जानें चली गई थीं. इस घटना में तत्कालीन डीएसपी अनिल राव की बेटी की भी मौत हो गई थी. शवों के अंतिम संस्कार के लिए श्मशानघाट में जगह नहीं बची थी. सिरसा के डबवाली स्थित डीएवी स्कूल में वार्षिक उत्सव मनाया जा रहा था, लेकिन ऐसी खलल पड़ी कि खुशी का माहौल मातम में बदल गया. समारोह के दौरान पंडाल के गेट पर शॉट सर्किट हुआ और चंद मिनटों में आग ने पूरे पंडाल को अपनी चपेट में ले लिया. पंडाल के पास खाना बनाने के लिए गैस सिलेंडर भी रखा था, जो आग से जल उठा.

बिजली के तार ने भी आग पकड़ ली. पास रखे जनरेटर में भी डीजल होने से आग और भड़क गई. पंडाल के ऊपर तिरपाल की छत बिछाई गई थी. तिरपाल की पॉलिथिन में आग लगने से वह पिघलती हुई लोगों पर गिरी और देखते-ही-देखते लाशों का ढेर बिछ गया. इस दर्दनाक हादसे में 442 लोगों की मौत हो गई. जिसमें 136 महिलाएं और 258 बच्चे शामिल थे. ये देश का अब तक सबसे बड़ा अग्निकांड माना जाता है.

23 फरवरी 1997-बारिपदा-ओडिशा

यह आग एक संप्रदाय के धार्मिक कार्यक्रम के दौरान लगी और भगदड़ के बाद बारिपदा में 23 फरवरी 1997 को 206 लोगों की मौत हो गई. यह आग हताहतों की संख्या के मामले में दूसरी सबसे बड़ी आग त्रासदी थी. इसके अतिरिक्त भगदड़ में 200 लोगों को चोटें आईं, जब भक्त आग से बचने की कोशिश कर रहे थे.

10 अप्रैल 2006-मेरठ-उत्तर प्रदेश

यहां एक उपभोक्ता इलेक्ट्रॉनिक्स मेले के दौरान लगी भीषण आग से 100 लोगों की मौत हो गई. आग लगने का कारण शॉर्ट सर्किट था.

16 जुलाई, 2004-कुंभकोणम-तमिलनाडु

2004 में तमिलनाडु के कुंभकोणम के स्कूल में लगी आग में भी 94 बच्चों को जानें चली गई थीं. तमिलनाडु के थांजावुर जिले के कुंभकोणम के कृष्णा इंग्लिश मीडियम स्कूल में छत पर आग लगी थी. ये तमिलनाडु के इतिहास में सबसे बड़ी आग दुर्घटनाओं में से एक है. इस मामले में एक रिटायर्ड जज की अगुवाई वाली जांच कमेटी ने पाया था कि स्कूल मैनेजमेंट ने छात्रों की संख्या तो बढ़ाई, लेकिन इंतजाम पर ध्यान नहीं दिया गया था.

9 दिसंबर, 2011-कोलकाता-पश्चिम बंगाल

2011 में कोलकाता स्थित एएमआरआई अस्पताल में आग लगी थी. इस आग में जलने और दम घुटने से 89 लोगों की मौत हो गई थी. प्रत्यक्षदर्शियों के मुताबिक 9 दिसंबर सुबह करीब साढ़े तीन बजे अस्पताल के बेसमेंट से धुआं निकलता दिखाई दिया था. बेसमेंट में रखे ज्वलनशीन पदार्थों से आग और तेजी से फैल गई. बाद में आग और धुएं की वजह से लोगों को अपनी जान गंवानी पड़ी.

13 जून, 1997-उपहार सिनेमा

दिल्ली में 13 जून 1997 को 59 लोगों की जलकर और दम घुटने मौत हो गई थी. इस घटना को उपहार अग्निकांड के नाम से भी जाना जाता है. साउथ दिल्ली के ग्रीन पार्क स्थित उपहार सिनेमा के बाहर सनी देओल, सुनील शेट्टी और अक्षय खन्ना की फिल्म बॉर्डर का फर्स्ट डे, फर्स्ट शो देखने के लिए लंबी कतारें लगी थीं. शाम का शो था. शाम करीब 4.55 बजे सिनेमा हॉल के बेसमेंट में रखे जनरेटर में आग लगी और धीरे-धीरे पूरे हॉल को आग ने अपने आगोश में ले लिया. इस घटना से हॉल में भगदड़ मच गई और 59 लोग इस आग में जिंदा जल गए थे. मरने वालों में 23 बच्चे भी थे. सिनेमा हॉल में क्षमता से अधिक लोग बैठे थे. जांच में सामने आया कि सिनेमा हॉल में सुरक्षा और आग रोकने के पुख्ता इंतजाम तक नहीं थे.

28 दिसंबर 2017- मुंबई

देश की आर्थिक राजधानी मुंबई स्थित कमला मिल्स परिसर की एक कॉमर्शियल बिल्डिंग में आग लगी थी, जिसमें 14 लोगों की मौत हो गई थी, जबकि 55 से अधिक लोग जख्मी हुए थे. नए साल के आगमन से ठीक पहले 28 दिसंबर 2017 को हुए इस अग्निकांड ने बीएमसी सहित मुंबई में चल रहे पबों में आग जैसे हादसों को लेकर बदइंतजामी सामने आ गई थी.

5 सितंबर 2012-शिवकाशी-तमिलनाडु

यह हादसा शिवकाशी में पटाखा मैन्युफैक्चरिंग के दौरान मजदूरों के रासायनों के मिलाने की वजह से विस्फोट से हुआ और आग लग गई, जिसमें 54 लोग मारे गए और 78 लोग घायल हो गए.

23 जनवरी, 2004-श्रीरंगम-तमिलनाडु

शादी के समारोह के दौरान आग लगने से 50 लोगों की मौत हो गई और 40 लोग घायल हो गए.

15 सितंबर, 2005-खुसरोपुर-बिहार

तीन अनधिकृत पटाखा मैन्युफैक्चरिंग ईकाई में विस्फोट से आग लगने से 35 लोगों की मौत हो गई और 50 से ज्यादा लोग घायल हुए.

Source : न्यूज स्टेट ब्यूरो

Delhi Fire delhi-police Anaj Mandi Fire Bag Factory Fire Rani Jhansi Road
Advertisment
Advertisment
Advertisment