रूस-यूक्रेन विवाद के कारण भारतीय छात्र वहां से स्वदेश लौट रहे हैं. भारत सरकार ने छात्रों को जल्द स्वदेश वापस लौटने के लिए एडवाइजरी जारी की है. भारत सरकार के इस कदम पर भारत में यूक्रेन के राजदूत इगोर पोलिखा ने कहा है कि यूक्रेन में रह रहे भारतीय छात्रों को घबराने की जरूरत नहीं है. यूक्रेन में स्थिति इतनी खराब नहीं है कि बड़े पैमाने पर भारतीय छात्र अभी देश छोड़े. साथ ही उन्होंने ये भी कहा है कि कुछ भारतीय मीडिया चैनल यूक्रेन के मुद्दे को बढ़ा-चढ़ाकर पेश कर रहे हैं.
भारत में यूक्रेन के राजदूत इगोर पोलिखा ने कहा है कि यूक्रेन एक कठिन परिस्थिति का सामना कर रहा है लेकिन वहां स्थिति गंभीर नहीं है. उन्होंने भारतीय छात्रों को वापस बुलाए जाने के मुद्दे पर कहा है कि जल्दबाजी की कोई जरूरत नहीं है. इसके साथ ही उन्होंने भारत के कुछ चैनलों से अपील की है कि वो यूक्रेन-रूस के मुद्दे को बढ़ा-चढ़ाकर पेश न करें.
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इगोर पोलिखा ने भारत सरकार का धन्यवाद भी दिया. उन्होंने कहा, 'मैं इस तरह का संतुलित दृष्टिकोण अपनाने के लिए भारत सरकार को धन्यवाद देना चाहता हूं. यूक्रेन में स्थिति कठिन है लेकिन गंभीर नहीं है. हम अपने सहयोगी देशों से बातचीत कर इस मसले पर संतुलित रहने के लिए कह रहे हैं. हम चाहते हैं कि संकट का कूटनीतिक समाधान हो.' राजदूत ने कहा कि पिछले 8 सालों से रूस का यूक्रेन के साथ तनाव चल रहा है. इस बीच कई बार कहा गया कि इस दिन युद्ध होगा लेकिन वो दिन कभी नहीं आया. यूक्रेन को अभूतपूर्व अंतर्राष्ट्रीय समर्थन मिला है.
यूक्रेन में 20 हजार से अधिक छात्र हैं और भारत सरकार ने आज ही एक एडवाइजरी जारी कर कहा है कि भारतीयों, खासकर छात्रों को यूक्रेन की स्थिति के मद्देनजर यूक्रेन छोड़ देना चाहिए. इसे लेकर राजदूत ने कहा कि छात्रों को स्थिति पर नजर रखनी चाहिए लेकिन घबराना नहीं चाहिए. उन्होंने कहा, 'तनाव कम करने के लिए सक्रिय बातचीत चल रही है. इसे ध्यान में रखते हुए, मुझे यूक्रेन से भारतीय छात्रों के बड़े पैमाने पर वापस लौटने का कोई तात्कालिक कारण नहीं दिखता है.'
भारतीय चैनलों को लेकर राजदूत ने कहा, 'भारतीय चैनलों से अनुरोध है कि वे इस मुद्दे को बढ़ा-चढ़ाकर पेश न करें और दहशत न फैलाएं. जिम्मेदार रिपोर्टिंग करें. कुछ भारतीय चैनल रिपोर्ट कर रहे हैं कि युद्ध शुरू हो गया है. लेकिन ऐसी कोई बात नहीं है.' रूस के साथ सीधी बातचीत के लिए तैयार है यूक्रेन राजदूत ने कहा कि उन्हें आशा है कि जल्द ही स्थिति में सुधार होगा. उन्होंने रूस से सीधी बातचीत को लेकर कहा, 'यूक्रेन ने कई बार दोहराया कि हम रूस के साथ, पश्चिमी भागीदारों के साथ बातचीत के लिए तैयार हैं. बातचीत ही एकमात्र रास्ता है और यूक्रेन इसके लिए तैयार है. मैं आशावादी हूं कि स्थिति में सुधार होगा.'
राजदूत ने कहा कि इस समय यूक्रेन की सबसे बड़ी चुनौती देश में फैला डर है. देश में फैले डर के कारण देश की आर्थिक स्थिति खराब हो सकती है और यूक्रेन के लिए मुश्किलें और बढ़ सकती हैं. यूक्रेन पर रूस के संभावित हमले की आशंकाओं के बीच एक सकारात्मक खबर आई है. रूस की समाचार एजेंसियों ने रूस के रक्षा मंत्रालय के हवाले से बताया है कि रूस यूक्रेन की सीमा से अपने कुछ सैन्य टुकड़ियों को वापस बुला रहा है.