कोरोना वायरस (Coronavirus) के बढ़ते कहर को लेकर सीबीएसई बोर्ड की 12वीं परीक्षाएं (CBSE Board 12th Exam) पर अभी भी संशय बरकरार हैं. केंद्रीय शिक्षा मंत्री रमेश पोखरियाल निशंक (Union HRD Minister Dr Ramesh Pokhriyal Nishank) ने आगामी बोर्ड परीक्षा, जेईई मेन, नीट सहित अन्य प्रतियोगी परीक्षाओं पर फैसले को लेकर रविवार सुबह 11.30 बजे रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह की अध्यक्षता में उच्च स्तरीय बेठक हुई है. इस बैठक में सभी राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों के शिक्षा मंत्रियों, शिक्षा सचिव के साथ केंद्रीय महिला एवं बाल विकास मंत्री स्मृति ईरानी और केंद्रीय सूचना एवं प्रसारण मंत्री प्रकाश जावड़ेकर भी शामिल हुए.
बोर्ड परीक्षाओं के आयोजन के संबंध में उच्च स्तरीय बैठक के बाद केंद्रीय शिक्षा मंत्री ने कहा कि कक्षा 12वीं की बोर्ड परीक्षाओं पर अन्य राज्यों के साथ बैठक फलदायी रही, क्योंकि हमें अत्यधिक मूल्यवान सुझाव मिले. मैंने राज्य सरकारों से 25 मई तक अपने विस्तृत सुझाव मुझे भेजने का अनुरोध किया है.
केंद्रीय शिक्षा मंत्री निशंक ने कहा कि इससे हम कक्षा 12वीं की बोर्ड परीक्षाओं के संबंध में एक निर्णय पर पहुंचने में सक्षम होंगे और छात्रों और अभिभावकों के बीच अनिश्चितता को दूर करने के लिए उन्हें अपने निर्णय के बारे में जल्द से जल्द सूचित करेंगे. छात्रों और शिक्षकों दोनों की सुरक्षा हमारे लिए बेहद जरूरी है. बैठक में सभी राज्यों ने परीक्षाएं आयोजित करने के लिए अपने पक्ष रखे और सुझाव साझा किए. जानकारी के मुताबिक केंद्र सरकार ने परीक्षाएं रद्द न करने का फैसला लिया है. परीक्षाएं जुलाई में आयोजित की जा सकती हैं, जिसकी आधिकारिक घोषणा केंद्रीय शिक्षामंत्री रमेश पोखरियाल निशंक एक जून को करेंगे. बैठक में दिल्ली के शिक्षामंत्री मनीष सिसोदिया ने ऐसे वक्त में परीक्षाओं का विरोध किया.
सूत्रों की माने तो तमिलनाडु, महाराष्ट्र कर्नाटक, तेलंगाना समेत पूर्वोत्तर के राज्यों ने कहा कि अभी उनके राज्य में महामारी (Pandemic) की स्थिति खराब है, लिहाजा परीक्षाओं (CBSE Exam) को कुछ और वक्त के लिए टाल देना चाहिए. कुछ शिक्षा मंत्रियों ने ऑप्शन दिया कि ऑफलाइन के स्थान पर ऑनलाइन परीक्षाएं भी करवाई जा सकती है. दिल्ली के शिक्षा मंत्री मनीष सिसोदिया ने कहा कि पहले 12वीं के बच्चों का टीकाकरण करवाओ उसके बाद ही बोर्ड परीक्षा संभव होगी.
Source : News Nation Bureau