थल सेना के वाइस चीफ लेफ्टिनेंट जनरल देवराज अंबु ने कहा कि अगर जरूरत पड़ेगी तो आतंकियों के खिलाफ सुरक्षा बल एक और सर्जिकल स्ट्राइक करने से संकोज नहीं करेंगे. देहरादून में भारतीय सैन्य अकादमी के पासिंग आउट परेड (पीओपी) के इतर देवराज अंबु ने कहा, 'बार्डर के पार आतंकियों के लॉन्चपैड पर सर्जिकल स्ट्राइक करना हमारे सशस्त्र बल के द्वारा ताकत दिखाना था और अगर दुश्मन हमें चुनौती देता है तो हम इसे दोबारा करने में संकोच नहीं करेंगे.
जम्मू-कश्मीर के उरी सेक्टर में भारतीय सैन्य अड्डे पर हमले के बाद, 29 सितंबर 2016 में भारत ने नियंत्रण रेखा के पार सर्जिकल स्ट्राइक को अंजाम दिया था. पाकिस्तान समर्थित उरी आतंकी हमले में भारत ने अपने 19 जवानों को खोए थे.
सशस्त्र बलों में महिलाओं की भागीदारी की योजना को लेकर अंबु ने कहा कि प्रस्ताव के विभिन्न आयामों को देखा जा रहा है क्योंकि पाकिस्तान और चीन की सीमा पर स्थिति देश के बाकी हिस्सों से अलग है.
इससे पहले शुक्रवार को सेवानिवृत्त लेफ्टिनेंट जनरल डी एस हुड्डा ने चंडीगढ़ में कहा था कि सर्जिकल स्ट्राइक का इतना प्रचार ठीक नहीं है, और वह महसूस करते हैं कि इस अभियान को गुप्त रखा जाना चाहिए था. जनरल हुड्डा की निगरानी में ही पाकिस्तानी सीमा में सर्जिकल स्ट्राइक की गई थी.
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लेफ्टिनेंट जनरल हुड्डा ने कहा था कि मामले का ज्यादा प्रचार करने से भला नहीं होगा और 'सैन्य अभियानों का राजनीतिकरण' किया जाना अच्छा नहीं है. उस वक्त हुड्डा सेना के उत्तरी कमान के कमांडर थे.
Source : News Nation Bureau