जम्मू-कश्मीर में चल रहा विधानसभा चुनाव अंतर्राष्ट्रीय मंच पर भी चर्चा का विषय है और इन चुनावों को देखने के लिए दुनिया के प्रमुख देशों से प्रतिनिधि घाटी का दौरा कर रहे हैं. अमेरिका, मैक्सिको, गुयाना, दक्षिण कोरिया, सोमालिया, पनामा, सिंगापुर, नाइजीरिया, स्पेन, दक्षिण अफ्रीका, नॉर्वे, तंज़ानिया, रवांडा, अल्जीरिया और फिलीपींस के उच्च स्तरीय राजनयिकों का एक प्रतिनिधिमंडल इन चुनावों का मुआयना करने के लिए कश्मीर पहुंचा.
इस प्रतिनिधिमंडल में ज्यादातर देशों का प्रतिनिधित्व उनके चार्जे डि’अफेयर (सीडीए) या डिप्टी चीफ ऑफ मिशन (डीसीएम) द्वारा किया जा रहा है, जबकि कुछ देशों के राजनयिक राजनीतिक अधिकारी, मंत्री-परामर्शदाता या काउंसलर रैंक के अधिकारी द्वारा प्रतिनिधित्व कर रहे हैं.
प्रतिनिधिमंडल ने अपने दौरे की शुरुआत बड़गाम जिले के ओमपोरा में स्थित मतदान केंद्रों से की. इसके बाद उन्होंने श्रीनगर के अमीरा कदल और लाल चौक स्थित एसपी कॉलेज, चिनार बाग में भी मतदान प्रक्रिया का अवलोकन किया. एसपी कॉलेज में एक विशेष गुलाबी मतदान केंद्र भी स्थापित किया गया है, जो पूरी तरह से महिलाओं द्वारा संचालित है.
कई देशों के राजनयिकों का दौरा
इस दौरे की खास बात यह रही कि जिन मतदान केंद्रों पर इन राजनयिकों ने दौरा किया, उनमें से कई ने 2019 के लोकसभा चुनावों के दौरान कम मतदान प्रतिशत देखा था. हालांकि, इस बार चुनाव आयोग और स्थानीय प्रशासन द्वारा मतदाताओं की संख्या बढ़ाने के लिए कई महत्वपूर्ण प्रयास किए गए हैं, जिसके चलते बेहतर मतदान की उम्मीद की जा रही है.
इस अंतर्राष्ट्रीय प्रतिनिधिमंडल की उपस्थिति ने इन चुनावों की पारदर्शिता और निष्पक्षता को लेकर एक सकारात्मक संदेश दुनिया के सामने रखा है. दुनिया की निगाहें अब इस बात पर टिकी हैं कि कश्मीर में यह चुनावी प्रक्रिया किस तरह से आगे बढ़ती है.
रिपोर्ट- मधुरेंद्र कुमार