राजू की उम्र 12 साल है. जिस दिन भी उसकी मम्मी तोरई की सब्जी बनाती हैं, वह खाना ही नहीं खाता. इसी तरह राशि की उम्र 15 साल है. जिस दिन भी घर में तोरई बनती है, राशि बाहर खाना खाने की जिद करने लगी है. ऐसे राजू और राशि घर-घर में हैं, जो तोरई की सब्जी खाने में मुंह बनाते हैं. अक्सर लोग तोरई की सब्जी खाने से जी चुराते हैं लेकिन हम आपको बता दें कि तोरई एक ऐसी सब्जी है, जो क्वालिटीज का खजाना है. तोरई के इतने लाभ होते हैं, अगर आपको पता चल गए तो आप शायद हैरान हो जाएंगे. तोरई का कई बार औषधि के रूप में भी प्रयोग किया जाता है.
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सबसे पहले आपको बताते हैं तोरई खाने के फायदे. तोरई वीर्य बढ़ाती है और शरीर के घावों को ठीक करती है. तोरई खाने से खून भी साफ होता हैू. यही नहीं, इस खाने से भूख भी खुलकर लगती है. यही नहीं, मधुमेह यानी डायबिटीज को कंट्रोल करने में और कोलेस्ट्रोल को कम करने में भी तोरई फायदेमंद है.
अब बात आती है कि इसका प्रयोग औषधि के रूप में कैसे करना है. प्राकृतिक चिकित्सक रवि दुबे का कहना है कि तोरई के प्रयोग सिर के रोग ठीक करने में किया जाता है. तोरई के पत्तों का रस, गेहूं के आटे में गूंथकर उसकी बाटियां बनाकर गूंथ लें. उसमें घी और शक्कर मिलाकर लड्डू की तरह बना लें. इसे खाने से सिर से जुड़ी बीमारियों में फायदा होता है. यही नहीं कच्ची तोरई पीसकर उसका रस सिर में लगाने से सिर दर्द में आराम मिलता है. इसके अलावा तोरई के बीजों का रस तेल में घिसकर आंखों में काजल की तरह लगाने से मोतियाबिंद में फायदा होता है.
HIGHLIGHTS
- तोरई खाने से जी चुराते हैं बच्चे
- तोरई प्रमुख सब्जियों मेें है एक
- औषधि के रूप में भी होता है प्रयोग