आजकल जिस हिसाब से टेक्नॉलोजी बढ़ रही है. उस हिसाब से हमारी लाइफ में खतरा भी दिन-ब-दिन बढ़ता जा रहा है. वहीं टेक्नॉलोजी हमारी लाइफ में काफी ज्यादा जरूरी हो गई है. बिना लैपटॉप के तो कोई काम ही नहीं होता है. लेकिन क्या आप जानते है कि इसका हमारी जिंदगी पर कितना असर पड़ता है. इसका असर आपके दिमाग के अलावा आपकी मर्दानगी पर भी पड़ता है. आइए आपको बताते है कि इसका खतरा कैसे आपकी मर्दानगी पर पड़ सकता है.
स्टडी में हुआ खुलासा
हाल ही में एक स्टडी में खुलासा हुआ है कि ज्यादातर लैपटॉप या स्मार्टफोन इस्तेमाल करने से पुरुषों की प्रजनन क्षमता पर काफी ज्यादा असर पड़ता है. अगर आप भी काफी देर तक लगातार लैपटॉप इस्तेमाल करते हैं. खासकर उसे अपनी गोद में रखकर चलाते हैं तो इससे पुरुषों की फर्टिलिटी पर असर पड़ सकता है.
गोद में लैपटॉप रखने से खतरा
स्टडी में सामने आया है कि लैपटॉप और स्मार्टफोन से बनने वाली इलेक्ट्रोमैग्नेटिक फील्ड से इनफर्टिलिटी यानी बांझपन बढ़ सकता है. लैपटॉप से निकलने वाली गर्मी और इलेक्ट्रोमैग्नेटिक फील्ड से हाइपरथर्मिया हो सकता है. दरअसल, तापमान में अचानक होने वाला इजाफा और ऑक्सीडेटिव स्ट्रेस डीएन डैमेज कर सकता है. इससे स्पर्म की क्वालिटी पर काफी खराब असर पड़ता है. अगर आप अपने लैपटॉप को गोद में रखकर चलाते हैं तो इससे आपके अंडकोष का तापमान बढ़ सकता है. एक्सपर्ट ने बताया कि शुक्राणु बनाने के लिए जिस तापमान की जरूरत होती है, वह शरीर के तापमान से थोड़ा कम होता है. इससे स्पर्म काउंट और मेबिलिटी में कमी आ सकती है. जिससे फर्टिलिटी घटती है.
गैजेट्स की वजह से गिरा स्पर्म प्रोडक्शन
एक्सपर्ट के मुताबिक इन दिनों इनफर्टिलिटी एक काफी प्रमुख मुद्दा बन गया है. वहीं 15 से 20% यंग कप्लस को गर्भधारण करने में दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है. वहीं स्टडी में साल 2005 में स्पर्म प्रोडक्शन में गिरावट देखी गई. इसके पीछे सबसे बड़ा कारण लैपटॉप, सेल फोन और लगातार बढ़ रहे इलेक्ट्रॉनिक गैजेट्स को पाया गया.
ऐसे करें बचाव
एक्सपर्ट के मुताबिक अगर आपको लंबे समय तक लैपटॉप पर काम करना ही है तो उसके नीचे कूलिंग पैड रखिए, या फिर लैपटॉप को टेबल पर रखना चाहिए. इसके अलावा आप लगातार काम करनी की जगह बीच बीच में ब्रेक लें.
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(Disclaimer: यहां दी गई जानकारी सामान्य मान्यताओं और जानकारियों पर आधारित है. News Nation इसकी पुष्टि नहीं करता है.)