Same Blood Group Couple: पिछले कई सालों से हम सुनते आ रहे हैं कि पति-पत्नी का ब्लड ग्रुप एक जैसा नहीं होना चाहिए. इसलिए, विवाह के पहले दोनों का ब्लड ग्रुप चेक कराया जाता है. अगर दोनों का ब्लड ग्रुप एक जैसा होता है, तो हेल्थ एक्सपर्ट से सलाह ली जाती है कि क्या शादी करनी चाहिए या नहीं. ऐसा इसलिए, क्योंकि माना जाता है कि पति-पत्नी का एक जैसा ब्लड ग्रुप होने से कंसीव करने में परेशानी आती है. आइए जानते हैं इस पर क्या कहते हैं एक्सपर्ट?
पति-पत्नी का एक जैसा ब्लड ग्रुप होने से क्या होगा
हेल्थ एक्सपर्ट का कहना है कि यदि महिलाओं का ब्लड ग्रुप Rh- और पति का Rh+ (उदाहरण के लिए A+ और A-।) होता है, तो गर्भावस्था के समय कुछ समस्याएं हो सकती हैं. यदि बच्चे को पिता के Rh+ फैक्टर मिलते हैं, तो Rh इनकम्पेटिबिलिटी नाम की समस्या हो सकती है. इसके अलावा, अगर पहली गर्भावस्था में शिशु का ब्लड ग्रुप पॉजिटिव होता है, तो डिलीवरी के समय उसके ब्लड सेल्स मां के ब्लड स्ट्रीम में जाते हैं. मां का इम्यून सिस्टम बच्चे के ब्लड के खिलाफ कुछ एंटीबॉडीज बनाता है, जिससे फीटल अब्नोर्मलिटी और गर्भावस्था के दौरान मिसकैरेज जैसी गंभीर जटिलताएं हो सकती हैं.
एक्सपर्ट क्या कहते हैं
हेल्थ एक्सपर्ट के मुताबिक, अगर पति-पत्नी का ब्लड ग्रुप एक जैसा होता है. तो इसका उनके हेल्थ पर ज्यादा असर नहीं पड़ता है. इसका मतलब है कि उन्हें अपने माता-पिता से ब्लड ग्रुप विरासत में मिला है. एक जैसा ब्लड ग्रुप होने का एक फायदा यह भी है कि वह एक-दूसरे को ब्लड डोनेट कर सकते हैं.
इन्हें भी पढ़े: Raksha Bandhan 2024: इस साल कब मनाया जाएगा रक्षाबंधन? जानें सही तिथि और शुभ मुहूर्त!
जैसै, अगर माता और पिता का ब्लड ग्रुप 0 है. तो उनके बच्चा का भी ब्लड ग्रुप वही होगा. जिन माता-पिता का ब्लड ग्रुप B है. उनके बच्चे का ब्लड ग्रुप 0 /या B हो सकता है. जिन माता-पिता का ब्लड ग्रप A है. उनके बच्चे का ब्लड ग्रुप 0 या A हो सकता है.
देश और दुनिया की लेटेस्ट खबरें अब सीधे आपके WhatsApp पर. News Nation के WhatsApp Channel को Follow करने के लिए इस लिंक पर क्लिक करें: https://www.whatsapp.com/channel/0029VaeXoBTLCoWwhEBhYE10
Disclaimer: खबर में दी गई कुछ जानकारी मीडिया रिपोर्ट्स पर आधारित है. आप किसी भी सुझाव को अमल में लाने से पहले संबंधित विशेषज्ञ से सलाह जरूर लें.
Source : News Nation Bureau