कोरोना वायरस (Corona Virus) को रोकने के लिए 24 मार्च की शाम से देशभर में लॉकडाउन (Lockdown) का ऐलान किया गया था. लॉकडाउन में ट्रेन, बस और विमान सेवाओं पर पूरी तरह से रोक लगा दी गई थी. देशव्यापी लॉकडाउन से जिंदगी थम सी गई थी. अब धीरे-धीरे लॉकडाउन में रियायत देकर जनजीवन को पटरी पर लाने की कोशिश हो रही है. लॉकडाउन में पर्यटन (Tourism) भी पूरी तरह ठप हो गया था. अब पर्यटन को भी पटरी पर लाने के लिए कवायद शुरू की जा रही है.
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पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने जल्द ही नई पर्यटन नीति लाने का ऐलान किया है. मुख्यमंत्री के संकेतों को मानें तो नई पर्यटन नीति में संकट में घिरे पर्यटन उद्योग को राहत दी जा सकती है. सीएम अशोक गहलोत ने कहा था, राजस्थान पर्यटन का महत्वपूर्ण केंद्र है. इससे प्रदेश के लाखों लोगों की आजीविका जुड़ी हुई है. पर्यटन गतिविधियों को प्रोत्साहन देने के लिए सरकार जल्द ही नई पर्यटन नीति लाएगी. प्रदेश में करीब 20 साल बाद लाई जा रही इस पर्यटन नीति से पर्यटन को पटरी पर लाने में भी मदद मिलेगी.
सीएम गहलोत ने कहा कि मेलों और उत्सव से अधिक से अधिक देसी-विदेशी पर्यटक जुड़ सकें, इसके लिए इन्हें नया रूप दिया जाएगा. पुष्कर मेला, डेजर्ट फेस्टिवल, कुंभलगढ़, बूंदी उत्सव सहित अन्य मेलों और उत्सवों की नए सिरे से ब्रांडिंग की जाएगी, ताकि पर्यटक आकर्षित हो सकें.
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सीएम गहलोत ने कहा, धार्मिक पर्यटन की दृष्टि से अधिकारी धार्मिक स्थलों के विकास की रूपरेखा तैयार करें. भरतपुर के केवलादेव नेशनल पार्क में पानी की समस्या दूर करने के लिए स्थायी समाधान तलाशने की भी बात उन्होंने कही.
Source : News Nation Bureau