नई जनरेशन के लिए जहां टैटू बनवाना फैशन हो गया है, वहीं कम लोग जानते होंगे कि ऐसे लोगों को सेना में नहीं लिया जा सकता. अगर कोई बॉडी के किसी पार्ट पर टैटू बनवाकर सेना में भर्ती भी होना चाहता है तो उसको मेडिकल टेस्ट में निकाल दिया जाता है. इस बीच सवाल यह उठता है कि केवल टैटू की वजह से ही लोगों को सेना के मेडिकल टेस्ट में क्यों फेल कर दिया जाता है? आइए आज हम आपको बता दें कि इसके पीछे की वजह...
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पहला कारण-
क्योंकि बॉडी पर गुदवाया गया टैटू स्किल में संक्रमण कर त्वचा संबंधी कई गंभीर बीमारियों को जन्म दे सकता है या रक्त जनित बीमारियों की वजह बन सकता है। इसके साथ ही टैटू से HIV, हेपेटाइटिस A और B टेटनस, एलर्जी, आदि की संभावनाएं भी बढ़ जाती हैं. इन बीमारियों ग्रस्ति व्यक्ति अपने साथियों को भी संक्रमित कर सकता है. यही वजह है कि सेना ने टैटू को बैन कर दिया है.
दूसरा कारण
क्योंकि अनुशासन का दूसरा नाम सेना है और टैटू एक तरह से स्वतंत्रता और व्यक्तित्व-विशेष को दर्शाता है. इसलिए सेना में टैटू वाले लोगों को वरियता नहीं दी जाती.
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तीसरा कारण
युद्ध जैसी स्थिति में दुश्मन आपके निशानों को कमजोरी बनाकर आपकी पहचान कर सकता है. यही वजह है कि लड़ाई के समय सैनिक अपने सीनियर्स को सलामी नहीं देते. यही कारण है कि सभी सैनिक एक समान वर्दी पहनते हैं। झुंड से अलग दिखना आपको जोखिम भरी स्थिति में डालता है.
Source : News Nation Bureau