MCD Election Results: दिल्ली में एमसीडी चुनाव के नतीजे आ चुके हैं. एमसीडी की सत्ता पर काबिज बीजेपी से सत्ता छिन चुकी है. आम आदमी पार्टी अब एमसीडी भी चलाएगी. दिल्ली की सरकार पहले से आम आदमी पार्टी के पास है. बीजेपी अब 104 पार्षदों की ताकत के साथ सीमित हो चुकी है, तो आम आदमी पार्टी के पास 134 पार्षद हो चुके हैं. कांग्रेस के पास 9 पार्षद है, तो 3 सीट अन्य के पास है. एमसीडी की सत्ता पर काबिज होने के लिए 126 सीटों पर जीत की जरूरत थी, जिसे आम आदमी पार्टी से बड़े आराम से पा लिया है.
आम आदमी पार्टी ने किया बीजेपी की कमजोरी पर प्रहार
जीत-हार को लेकर सभी पार्टियां मंथन करेंगी. सब अपने-अपने हिसाब से अनुमान लगाएंगे. लेकिन फौरी तौर पर आम आदमी पार्टी की जीत की वो वजहें हम बता रहे हैं, जिसके दम पर उसने 15 साल से एमसीडी में अजेय बीजेपी को धूल चटा दी है. इसमें सबसे बड़ी वजह है आम आदमी पार्टी की सीधी रणनीति. ये सीधी रणनीति सी रणनीति के मूल में है-विपक्षी की कमजोरी की पहचान कर उसी पर वार किया जाना. आम आदमी पार्टी ने सीधे तौर पर यही किया. आम आदमी पार्टी ने बीजेपी की उन गलतियों या यूं कहें कि उन मुद्दों को उजागर किया, जिनपर वो पिछड़ रही थी. अरविंद केजरीवाल और आम आदमी पार्टी ने जनता से जुड़े उन्हीं 10 कामों को पूरा करने की गारंटी ले ली, जिसे एमसीडी की सत्ता में रहते हुए बीजेपी को करना था.
अरविंद केजरीवाल ने ली थी ये 10 गारंटी
अरविंद केजरीवाल ने एमसीडी चुनाव से पहले 10 गारंटी ली. इन गारंटियों में साफ सफाई से लेकर पार्कों का रखरखाव और कूड़े के पहाड़ों से मुक्ति का मुद्दा शामिल था. स्कूलों, अस्पतालों की हालत सुधारने और समय पर वेतन देने की बात थी. ये वो 10 मुद्दे थे, जिनका निवारण बीजेपी 15 साल में नहीं कर पाई थी. ऐसे में जब इन मुद्दों को आम आदमी पार्टी और अरविंद केजरीवाल ने शर्तियां पूरा करने की गारंटी दी, तो दिल्ली वालों ने आम आदमी पार्टी को मौका दे दिया. अरविंद केजरीवाल ने इन 10 बातों की गारंटी दी थी-
आम आदमी पार्टी जीत सकती थी और भी ज्यादा सीटें, अगर...
एमसीडी चुनाव में आम आदमी पार्टी ने कुल 134 सीटें जीती. ये सीटें और भी अधिक होती, अगर कुछ 'खास' जगहों पर आम आदमी पार्टी बेहतर प्रदर्शन करती. क्योंकि कथित तौर पर विवादित नेताओं की सीटों पर आम आदमी पार्टी को करारी हार मिली है, जिसमें पटपड़गंज, ओखला, संगम विहार और नजफगढ़ के इलाके महत्वपूर्ण है. अब अंदाजा लगाने वाले अंदाजा लगाते रहें कि हमने किस तरफ इशारा किया है.
(दिल्ली एमसीडी चुनाव पर राजनीतिक विश्लेषक के तौर पर खास पहचान रखने वाले पत्रकार श्रवण शुक्ल की प्रतिक्रिया. नोट-ये लेखक के निजी विचार हैं. इनसे संस्थान का सहमत होना जरूरी नहीं है.)
HIGHLIGHTS
- दिल्ली नगर निगम चुनाव में 'आप' की जीत
- बीजेपी को 15 साल बाद किया सत्ता से बाहर
- केजरीवाल की 10 गारंटी पर दिल्ली की जनता को भरोसा
Source : Shravan Shukla