Ramcharit Manas Chaupai: "रामचरित मानस" भगवान श्रीराम की महाकाव्य कविता है, जिसे संत तुलसीदास ने लिखा था. यह काव्य महाकाव्य 'रामायण' की कथा को अनूठे रूप में प्रस्तुत करता है. इसमें भगवान राम के जीवन के विभिन्न पहलुओं को दर्शाया गया है, जैसे की उनका जन्म, बचपन, बाल्य, विवाह, वनवास, अयोध्या प्रस्थान, लंका दहन, और फिर अयोध्या में वापसी. इस काव्य में भक्ति, प्रेम, समर्पण, और नैतिकता के संदेश दिए गए हैं, जो आज भी मानवता के लिए महत्वपूर्ण हैं. तुलसीदास ने इस महाकाव्य को अवधी भाषा में लिखा था, जो आध्यात्मिक और साहित्यिक महत्ता का उत्कृष्ट उदाहरण है.
"मानुष जन्म दुर्लभ है, पाइए बड़ी आस. जो राम नाम न जपै, सो है पशु के पास."
चौपाई के अनुसार मानव जीवन दुर्लभ है और इसे व्यर्थ नहीं करना चाहिए. हमें राम नाम का जप करना चाहिए और जीवन को सार्थक बनाना चाहिए.
"कहहिं सुनहिं जो रामचरित, हृदय प्रसन्न होय. सो सब पाप कटि जाय, मोह माया भ्रम खोय."
यह चौपाई रामचरित मानस के महत्व को दर्शाता है. इसका पाठ करने से हृदय प्रसन्न होता है और पापों का नाश होता है.
"जो राम नाम जपहिं निरंतर, ते जन परम सुखी. दुःख नहिं तेहिं कबहुँ, काहुँ नहिं व्यापी."
इस चौपाई में राम नाम जपने के महत्व को बताता है. जो व्यक्ति निरंतर राम नाम जपता है, वह सुखी रहता है और उसे कभी दुःख नहीं होता.
"जो प्रेमी भगति करहिं राम की, ते निश्चय सिद्धि पावहिं. कहहिं सुनहिं जो रामचरित, तेहिं सब फल पावहिं."
यह चौपाई राम भक्ति के महत्व को दर्शाता है. जो व्यक्ति राम भक्ति करता है, वह निश्चित रूप से सफलता प्राप्त करता है.
"भक्ति करहिं जो राम की, तेहिं सब सुख उपजहिं. दुःख नहिं तेहिं कबहुँ, काहुँ नहिं व्यापी."
यह चौपाई राम भक्ति के लाभों को बताता है. जो व्यक्ति राम भक्ति करता है, उसे सभी सुख प्राप्त होते हैं और उसे कभी दुःख नहीं होता.
"राम नाम की महिमा अपरंपार, गुन गावहिं मुनिजन. जो जपहिं निरंतर नर, पावहिं परम गति सन."
यह चौपाई राम नाम की महिमा का वर्णन करता है. राम नाम जपने से मनुष्य परम गति प्राप्त करता है.
"सुनहिं जो राम कथा, मन होय निरमल. पाप कटि जाय सब, सुख संपति घर आवै."
यह चौपाई राम कथा सुनने के महत्व को दर्शाता है. राम कथा सुनने से मन पवित्र होता है और पापों का नाश होता है.
"जो कोउ पापी होय, अधम अति नीच. शरण राम की आवै, सो होय परम गति."
यह चौपाई राम की शरण का महत्व बताता है. जो पापी व्यक्ति भी राम की शरण में आता है, वह परम गति प्राप्त करता है.
"राम नाम की महिमा अपरंपार, कहहिं सुनहिं मुनिजन. जो जपहिं निरंतर नर, पावहिं परम गति सन."
यह चौपाई राम नाम की महिमा का वर्णन करता है. राम नाम जपने से मनुष्य परम गति प्राप्त करता है.
"सबके हितकारी, सुखकारी, सबके मन के रंजनकारी. सबके दुःख हरनकारी, श्री राम जय जयकारी."
यह चौपाई श्री राम की महिमा का वर्णन करता है. श्री राम सबके हितकारी, सुखकारी और दुःख हरनकारी हैं.
यह 10 चौपाई रामचरित मानस से हैं, जो आपके जीवन को बदल सकती हैं.
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(Disclaimer: यहां दी गई जानकारियां धार्मिक आस्था और लोक मान्यताओं पर आधारित हैं. न्यूज नेशन इस बारे में किसी तरह की कोई पुष्टि नहीं करता है. इसे सामान्य जनरुचि को ध्यान में रखकर यहां प्रस्तुत किया गया है.)
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Source : News Nation Bureau