Chanakya Niti: आचार्य चाणक्य ने अपने अनुभवों को नीति के जरिये जन जन तक पहुंचाया है. चाणक्य निति का अनुसरण न सिर्फ जीवन में सफलता का मार्ग खोल सकता है बल्कि आपको कई गंभीर परिस्थितियों से भी बाहर निकलने में मदद कर सकता है. वहीं, इसके अलावा दुष्टों या दुराचारियों या फिर वो लोग जो दूसरों के प्रति नकारात्मक विचार रखते हैं- उनके लिए 'चाणक्य निति' किसी कड़ी सीख से कम नहीं है. अक्सर हर किसी के जीवन में ऐसे लोग होते हैं जिन्हें बड़ा ही शौक होता है दूसरों को परेशान करने या सताने का. लेकिन चाणक्य निति के अनुसार, कुछ लोगों को सताना या उन्हें कष्ट पहुंचाना भारी पड़ सकता है. आज हम आपको उन्हीं लोगों के बारे में बताने जा रहे हैं जिन्हें दुखी करने से अगर आप बाज नहीं आए तो आपकी खाट खड़ी होते में देर नहीं लगेगी.
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जो लोग दूसरों के प्रति हमेशा चाल चलते रहते हैं या दूसरों को सताने का अवसर ढूंढते रहते हैं उनके जीवन में लक्ष्मी का वास कब धीरे धीरे खात्म होने लगता इसका उन्हें पता भी नहीं चलता और जब तक इसका आभास होता है तब तक जीवन में कुछ शेष बचता ही नहीं.
मेहनती लोग
चाणक्य निति के अनुसार, जो लोग जीतोड़ मेहनत करते हैं और अपने बल पर एक अच्चा मुकाम हासिल करने की क्षमता रखते हैं उन्हें कभी नहीं सताना चाहिए. ऐसा करने से वाले लोगों से मां लक्ष्मी रूष्ठ हो जाती हैं और आगे चलकर उस व्यक्ति को धन हानि का सामना करना पड़ता है.
कमजोर या गरीब लोग
चाणक्य का कहना है कि जो लोग पैसे के मत में या सत्ता के अहंकार में किसी गरीब या कमजोर को परेशान करते हैं उनके घर कंगाली आते देर नहीं लगती और जीवन में आर्थिक तंगी का दौर शुरू हो जाता है.
महिलाएं
चाणक्य नीति में बताया गया है कि किसी भी व्यक्ति को महिलाओं और बच्चों का सम्मान करना चाहिए. इन्हें परेशान करना या नाराज करना या फिर इनका तिरस्कार करना आपको दरिद्रता की कगार पर पहुंचा सकता है.