Chaturmas 2023: दिनांक 29 जून से चातुर्मास शुरू होने जा रहा है, जिससे सभी मांगलिक कार्य पर रोक लगा दिए जाएंगे. वहीं यह चातुर्मास 4 माह का होने वाला है. आषाढ़ माह की एकादशी तिथि से कार्तिक माह की एकादशी तक चातुर्मास काल माना जाता है. पौराणिक मान्यताओं के अनुसार, चातुर्मास में 4 माह के लिए भगवान विष्णु योग निद्रा में चले जाते हैं. इस दौरान सभी साधु-संत मौन हो जाते हैं और तीर्थ यात्रा पर चले जाते हैं. वहीं दिनांक 29 जून को हरिशयन एकादशी भी है. अब ऐसे में चातुर्मास में मांगलिक कार्यों पर रोक लगा दी जाती है, तो ऐसे में आइए आज हम आपको अपने इस लेख में बताएंगे कि चातुर्मास के दौरान किन कार्यों को करना वर्जित है और इस समय किन उपायों को करने से आर्थिक तंगी से मुक्ति मिलती है.
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इस दौरान भूलकर भी न करें मांगलिक कार्य
दिनांक 29 जून को देवशयनी एकादशी है, जिसके बाद भगवान विष्णु योग निद्रा पर चले जाते हैं. इसलिए इस दौरान कोई भी मांगलिक कार्य करने से बचें. जैसे कि गृह प्रवेश, शादी-विवाह आदि मांगलिक कार्य वर्जित माना जाता है.
चातुर्मास में जरूर करें ये उपाय
1. जो लोग नौकरी और व्यापार के लिए परेशान हैं, तो उन्हें चातुर्मास में छतरी, कपड़ा, अन्न और कपूर का दान करना चाहिए. इससे भगवान शिव जल्द प्रसन्न होते हैं औक व्यक्ति की मनोकामना पूरी कर देते हैं. व्यापार में वृद्धि के साथ-साथ आर्थिक
स्थिति अच्छी हो जाती है.
2. प्रतिदिन सुबह और शाम विष्णु सहस्त्रनाम स्तोत्र का जाप करना चाहिए.
इन चीजों से करें परहेज
इन चार माह में तेल से बनी चीजों को खाने से बचें, जैसे कि दूध, शक्कर, दही, तेल, बैंगन, नमकीन, सब्जियां, मसालेदार सब्जी, मिठाई, सुपारी, मांस, मंदिरा.
चातुर्मास में करें इन मंत्रों का जाप
ॐ नमो भगवते वासुदेवाय नमः
ॐ विष्णवे नम:
ॐ हूं विष्णवे नम:
श्रीकृष्ण गोविन्द हरे मुरारे। हे नाथ नारायण वासुदेवाय।।
विष्णु सहस्त्रनाम का एक माला जाप करें.