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चोल काल के मंदिर की सीढ़ियों के नीचे मिला आधे किलाे का सोना!

एक मंदिर के जीर्णोद्धार के दौरान ग्रामीणों को ‘प्राचीन सोना’ मिला जिसे अधिकारियों ने जब्त कर लिया और रविवार को सरकारी खजाने में जमा करा दिया. हालांकि, स्थानीय लोगों ने इसका विरोध किया. यह जानकारी अधिकारियों ने दी.

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Sunil Mishra
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चोल काल के मंदिर की सीढ़ियों के नीचे मिला आधे किलाे का सोना( Photo Credit : File Photo)

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एक मंदिर के जीर्णोद्धार के दौरान ग्रामीणों को ‘प्राचीन सोना’ मिला जिसे अधिकारियों ने जब्त कर लिया और रविवार को सरकारी खजाने में जमा करा दिया. हालांकि, स्थानीय लोगों ने इसका विरोध किया. यह जानकारी अधिकारियों ने दी. उतीरामेरूर में ग्रामीण खुद ही भगवान शिव के मंदिर के जीर्णोद्धार में लगे हुए थे, जिस दौरान करीब आधे किलोग्राम वजन का ‘सोने का सामान’ गर्भगृह की ओर जाने वाली सीढ़ियों के नीचे मिला.

सूचना मिलने पर अधिकारी मंदिर में पहुंचे और वे चाहते थे कि सोना सरकार को सौंप दिया जाए. अधिकारियों ने बताया कि श्रद्धालु और स्थानीय लोग इसे नहीं देना चाहते थे क्योंकि वे जीर्णोद्धार पूरा होने के बाद सोने को उसी स्थान पर लगाना चाहते थे, लेकिन अधिकारी इसे लेने पर अड़े हुए थे. वार्ता विफल होने के बाद अधिकारियों ने पर्याप्त संख्या में गांव में पुलिस बल को तैनात किया और लोगों के विरोध के बीच उन्होंने इसे जब्त कर लिया, एक बॉक्स में इसे पैक किया और फिर सील करके ले गए.

ग्रामीणों के मुताबिक मंदिर चोल काल का है. एक स्थानीय व्यक्ति ने बताया, मंदिर की सीढ़ियों के नीचे सोना लगाना शुभ माना जाता है और बहुत पहले से यह परंपरा चली आ रही है. उन्होंने कहा कि चूंकि सोना मंदिर का है इसलिए अधिकारियों को इसे जब्त करने का अधिकार नहीं है और पुलिसकर्मियों तथा अधिकारियों को इस महंगी धातु को ले जाने से रोका गया. यह पूछने पर कि क्या उन्होंने प्राप्त वस्तु का सत्यापन किया है (कि क्या यह सोना और सदियों पुराना है) तो राजस्व संभागीय अधिकारी विद्या ने कहा कि ‘यह सोने जैसा दिख रहा है.’

वजन तथा सोने के सिक्का या आभूषण के रूप में होने के बारे में पूछे जाने पर उन्होंने कहा कि लोगों के विरोध के कारण इसका पूर्ण आकलन नहीं किया जा सका. उन्होंने कहा, सोने को खजाने में जमा करा दिया गया है. पुलिस के एक अधिकारी ने बताया कि सोना का वजन करीब 565 ग्राम है और राजस्व अधिकारी निर्णय करेंगे कि सोना मंदिर को वापस करना है अथवा नहीं. उतीरामेरूर यहां से करीब 40 किलोमीटर और चेन्नई से 90 किलोमीटर दूर मंदिरों का शहर है.

Source : Bhasha

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