Kaal Sarp Dosh: सावन का महीना शिव जी की कृपा पाने के साथ-साथ जीवन के दुख-दर्द से निजात पाने का भी सही समय होता है. कुंडली में काल सर्प योग का होना बहुत कष्ट देता है. इसके लक्षण जीवन में साफ नजर आते हैं. जरूरी है कि इन लक्षणों को समय पर पहचानकर काल सर्प दोष का निवारण कर लिया जाए. ज्योतिष में काल सर्प योग को बहुत अशुभ योग माना गया है. आइए जानते हैं काल सर्प योग या काल सर्प दोष के लक्षणों को कैसे पहचानें और उनसे निजात पाने के लिए क्या उपाय करें.
कालसर्प दोष के लक्षण
- जब किसी व्यक्ति की कुंडली के सभी ग्रह राहु-केतु के बीच आ जाते हैं तो काल सर्प दोष बनता है. इसके लक्षणों को जीवन में साफ पहचाना जा सकता है.
- जिन लोगों की कुंडली में काल सर्प योग या दोष होता है उन लोगों की शिक्षा में बहुत परेशानी आती है. आमतौर पर ऐसे लोग कम ही पढ़ पाते हैं. इसके बाद उन्हें कामकाज में भी खासी परेशानियां आती हैं. हर काम में असफलता ही मिलती है. कई मामलों में कड़ी मेहनत भी फल नहीं देती है.
- काल सर्प दोष होने पर व्यक्ति गलत कामों और गलत लोगों की ओर आकर्षित होकर अपना जीवन तबाह कर लेता है.
- काल सर्प दोष होने पर वैवाहिक जीवन भी दुख से भरा होता है और कई मामलों में तो शादी ही नहीं हो पाती है. संतान उत्पत्ति में भी समस्या होती है.
- काल सर्प दोष होने पर लोगों के मन में अक्सर आत्महत्या करने के विचार आते हैं. यदि स्थिति बिगड़ जाए तो ऐसे लोग सुसाइड करने की कोशिश भी करते हैं. कुल मिलाकर इनके जीवन के लगभग हर क्षेत्र में स्थिति नकारात्मक ही रहती है.
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12 तरह के होते हैं काल सर्प दोष
ज्योतिष में 12 प्रकार के काल सर्प दोष बताए गए हैं. इनमें से कुछ बेहद खतरनाक होते हैं और जातक का जीवन बर्बाद कर देते हैं. इसलिए समय पर इन दोषों का निवारण कर लेना चाहिए. इसके लिए सावन महीने में काल सर्प दोष निवारण के उपाय कर लेना बहुत अच्छा माना गया है. ऐसा करने से जल्दी नतीजे मिलते हैं और जीवन बेहतर होता है. काल सर्प दोष दूर करने के लिए योग्य पंडित से अनुष्ठान कराना चाहिए.