आषाढ़ माह के शुक्ल पक्ष की एकादशी को देवशयनी एकादशी (devshayani ekadashi 2022) कहा जाता है. वैसे तो पूरे साल में 24 एकादशी आती हैं. लेकिन, इनमें देवशयनी एकादशी का विशेष महत्व बताया गया है. ऐसा कहा जाता है कि देवशयनी एकादशी के दिन से ही भगवान विष्णु चार महीने की योग निद्रा में चले जाते हैं. इसके बाद प्रभु श्रीहरि कार्तिक मास की शुक्ल पक्ष की देवउठनी एकादशी (devshayani ekadashi 2022 lord vishnu) को ही जागते हैं. इस अवधि को चातुर्मास कहा जाता है. जिसमें सभी शुभ और मांगलिक कार्य बंद हो जाते हैं. इस साल देवशयनी एकादशी 10 जुलाई, रविवार (devshayani ekadashi 2022 date) को पड़ रही है.
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देवशयनी एकादशी 2022 शुभ और खास योग -
देवशयनी एकादशी पर इस साल कई शुभ संयोग बन रहे हैं. इस दिन रवि योग, शुभ योग और शुक्ल योग (devshayani ekadashi 2022 shubh yog) का निर्माण हो रहा है.
रवि योग - 10 जुलाई सुबह 5 बजकर 32 मिनट से लेकर 11 जुलाई सुबह 9 बजकर 56 मिनट तक
शुभ योग - 10 जुलाई सुबह 04 बजकर 02 मिनट से 11 जुलाई तड़के 12 बजकर 45 मिनट तक
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शुक्ल योग - 11 जुलाई तड़के 12 बजकर 45 मिनट से लेकर रात 9 बजकर 01 मिनट तक
अनुराधा नक्षत्र - 10 जुलाई सुबह 9 बजकर 55 मिनट से 11 जुलाई सुबह 07 बजकर 50 मिनट तक