Laxmi Ji Puja Vidhi: शुक्रवार के दिन मां लक्ष्मी की विधि विधान से पूजा-अर्चना की जाती है. साथ ही जातक मनोकामना पूर्ति के लिए और मनोवांछित फल की प्राप्ति के लिए लक्ष्मी जी के निमित्त व्रत रखते हैं. धार्मिक मान्यताओं के अनुसार, जो भी जातक विधिपूर्वक पूजा करता है और व्रत रखता है तो उसे कभी भी आर्थिक तंगी का सामना नहीं करना पड़ता है. वहीं ज्योतिष की मानें तो अगर आप मां लक्ष्मी की पूजा सही विधि से करेंगे तभी आपको इसका फल मिलेगा. विधिपूर्वक पूजा करने से सौभाग्य, धन और समृद्धि प्राप्त होती है. ऐसे में अगर आप भी देवी की कृपा पाना चाहते हैं तो शुक्रवार के दिन इस विधि से लक्ष्मी जी की पूजा करें. आइए जानते हैं पूजा विधि.
मां लक्ष्मी पूजा विधि (Laxmi Ji Puja Vidhi)
बता दें कि माता लक्ष्मी की पूजा खासकर शाम के वक्त होती है. मां लक्ष्मी की पूजा करने से पहले स्नान कर स्वच्छ वस्त्र धारण करें. घर के किसी पवित्र स्थान पर लाल कपड़ा बिछाकर चौकी सजाएं. चौकी पर लक्ष्मी जी की प्रतिमा या मूर्ति स्थापित करें. प्रतिमा के सामने आसन लगाकर बैठें. अब श्री लक्ष्मी जी की पूजा का संकल्प लें. घट स्थापन करें. एक कलश या मिट्टी का घड़ा लेकर उसमें पानी भरें. उस पर नारियल, कलावा, सुपारी, हल्दी, चावल और रोली बांधें. इसके बाद, घड़े में 5 पान के पत्ते और 1 सिक्का डालें. गुलाब का फूल चढ़ाएं. फिर घी या तेल से दीपक प्रज्वलित करें. श्री लक्ष्मी जी का आह्वान मंत्र पढ़कर उनको पूजा में आमंत्रित करें. मान्यता है कि इस विधि से पूजा करने से माता सभी इच्छाएं पूरी करती हैं.
मां लक्ष्मी जी के मंत्र (Laxmi Ji Ke Mantra)
1. ॐ श्रीं ह्रीं क्लीं श्री सिद्ध लक्ष्म्यै नम:
2. ॐ धनाय नम:
3. ॐ ह्रीं श्री क्रीं क्लीं श्री लक्ष्मी मम गृहे धन पूरये, धन पूरये, चिंताएं दूरये-दूरये स्वाहा:
4. लक्ष्मी नारायण नम:
5. ॐ ह्रीं ह्रीं श्री लक्ष्मी वासुदेवाय नम:
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(Disclaimer: यहां दी गई जानकारियां धार्मिक आस्था और लोक मान्यताओं पर आधारित हैं. न्यूज नेशन इस बारे में किसी तरह की कोई पुष्टि नहीं करता है. इसे सामान्य जनरुचि को ध्यान में रखकर यहां प्रस्तुत किया गया है.)
Source : News Nation Bureau