नए साल की शुरुआत के साथ ही त्योहारों का मौसम भी शुरू हो गया है. जनवरी में दो प्रमुख त्योहार मनाए जाते हैं मकर संक्रांति और लोहड़ी. भारत में इन दोनों ही पर्व का खास महत्व है. इस साल मकर संक्रांति 15 जनवरी को मनाई जाएगी. इस दिन पवित्र नदी में स्नान करके खिचड़ी खाई और दान दक्षिणा की जाती है. इस पावन पर्व पर गरीबों में कम्बल और ऊनी वस्त्र का दान करने से अनंत पुण्य की प्राप्ति होती है. दरअसल सूर्य के राशि परिवर्तन को संक्रांति कहते हैं. जब सूर्य गोचरवश भ्रमण करते हुए मकर राशि में प्रवेश करते हैं, तब इसे 'मकर-संक्रांति' कहा जाता है. आइए जानते हैं क्या होगा इस साल मकर संक्रांति का शुभ मुहूर्त.
मकर संक्रांति का शुभ मुहूर्त
संक्रांति काल - 15 जनवरी 07:19 बजे
पुण्यकाल - 07:19 से 12:31 बजे तक
महापुण्य काल - 07:19 से 09:03 बजे तक
संक्रांति स्नान - 15 जनवरी 2020 प्रात:काल
यह भी पढ़ें: Lohri 2020: क्यों खास है लोहड़ी का त्योहार और क्या है इसे मनाने के पीछे मान्यता
नीचे जानिए कि आपको मकर संक्रांति पर क्या उपाय करने चाहिए
मकर संक्रांति पर दान का विशेष महत्व माना गया है. मिथुन राशि के लोगों को कपड़े का, कर्क राशि वालों को चावल-चीनी, सिंह राशि के जातकों को गेहूं-गुड़ और कन्या राशि वालों को मूंग दान करना चाहिए. अपनी इच्छा से अन्य चीजें भी दान कर सकते हैं.
इस दिन अपने आराध्य देव की आराधना भी कर सकते हैं. इसके लिए अलग-अलग मंत्रों का उच्चारण भी किया जा सकता है.
मकर संक्रांति का मुहूर्त शुरु होने के बाद जल्द से जल्द स्नान करने शुभ माना जाता है. सूर्योदय से ठीक पहले यानी ब्रम्ह मुहूर्त में स्नान करने से विशेष फल मिलता है.
इस दिन आराध्य देवता की पूजा करने के बाद तिल के लड्डू और खिचड़ी खानी चाहिए.
यह भी पढ़ें: इस दिन लगने जा रहा साल 2020 का पहला चंद्रग्रहण, जानें क्या करें और क्या नहीं
संक्रांति पर इन गलतियों से बचें
कुछ विशेष बातें ध्यान देने की हैं जो इस दिन आपको नहीं करना है. अब आइये जानते हैं कि इस दिन किन चीजों को करने से बचना चाहिए.
सूर्य को जल लोहे ,स्टील या प्लास्टिक के पात्र से मत दें.
घर में कोई भी सदस्य कहीं भी मांसाहारी भोजन कदापि मत करे.
शराब का सेवन घर का कोई भी सदस्य कहीं नहीं करेगा.
धूम्रपान भी वर्जित है.
घर पर बनने वाले भोजन में लहसुन और प्याज ना डालें. केवल खिचड़ी बनाएं और वही खाएं
भोजन बनने की जगह भोजन कदापि मत करें.
पूरे दिन नए या एकदम साफ कपड़े धारण करें.गंदे कपड़े कदापि मत पहनें.
प्रयास करें कि असत्य मत बोलें.
ब्रम्हचर्य का पालन आवश्यक है.
किसी की निन्दा न करें
इन मंत्रो का करें उच्चारण
श्री गणेश गायत्री मंत्र- ॐ तत्पुरुषाय विद्महे वक्रतुण्डाय धीमहि तन्नो दन्ति प्रचोदयात्
श्री शिव गायत्री मंत्र- ॐ महादेवाय विद्महे रुद्रमूर्तये धीमहि तन्नो शिव प्रचोदयात
श्री विष्णु गायत्री मंत्र- ॐ श्री विष्णवे च विद्महे वासुदेवाय धीमहि तन्नो विष्णु: प्रचोदयात
महालक्ष्मी गायत्री मंत्र- ॐ महालक्ष्मयै च विद्महे विष्णु पत्न्यै च धीमहि तन्नो लक्ष्मी प्रचोदयात
सूर्य गायत्री मंत्र- ॐ भास्कराय विद्महे महातेजाय धीमहि तन्नो सूर्य प्रचोदयात
Source : News Nation Bureau