Neech Bhang Raj Yog: जन्मकुंडली में कई प्रकार के राजयोग और दोष होते हैं, लेकिन नीचभंग राजयोग एक विशेष प्रकार का शक्तिशाली योग है. यह योग व्यक्ति को फर्श से अर्श तक ले जाने की क्षमता रखता है. नीचभंग राजयोग तब बनता है जब आपकी कुंडली में कोई ग्रह अपनी नीच राशि में होता है और उस ग्रह पर किसी उच्च ग्रह की दृष्टि होती है या वह उच्च ग्रह के साथ बैठा होता है. आइए इस योग के बारे में हम आपको विस्तार से बताते हैं.
1. जब एक नीच ग्रह उच्च ग्रह के साथ होता है, तो नीचभंग राजयोग बनता है.
2. अगर कोई ग्रह अपनी नीच राशि में बैठा है और उसकी राशि का स्वामी लग्न भाव या चंद्रमा से केंद्र स्थान में है, तो नीचभंग राजयोग बनता है.
3. जब नीच ग्रह की राशि में उच्च ग्रह चंद्रमा से केंद्र स्थान में होता है, तो भी नीचभंग राजयोग बनता है.
4. अगर नीच ग्रह के स्वामी की दृष्टि नीच ग्रह पर होती है, तो नीचभंग राजयोग बनता है.
5. अगर नीच ग्रह का स्वामी और उसकी उच्च राशि का स्वामी केंद्र स्थान में हो, तो नीचभंग राजयोग बनता है.
6. यदि नीच ग्रह वक्री हो, तो भी नीचभंग राजयोग बनता है.
7. अगर नीच ग्रह नौवे घर में उच्च स्थिति में हो, तो नीचभंग राजयोग बनता है।
नीचभंग राजयोग के लाभ
1. यदि इस योग का निर्माण सूर्य के कारण होता है, तो जातक को सरकारी लाभ प्राप्त होता है.
2. अगर यह योग बुध के कारण बनता है, तो जातक के भाग्य का विकास उसके मित्रों की मदद से होता है.
3. अगर इस योग का निर्माण चंद्रमा के कारण होता है, तो जातक के भाग्य का उदय उसकी माँ या माता के परिवार से होता है.
4. यदि मंगल के कारण नीचभंग राजयोग बनता है, तो जातक का भाग्य सेना या संपत्ति संबंधित कामों से जुड़ा होता है.
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(Disclaimer: यहां दी गई जानकारियां धार्मिक आस्था और लोक मान्यताओं पर आधारित हैं. न्यूज नेशन इस बारे में किसी तरह की कोई पुष्टि नहीं करता है. इसे सामान्य जनरुचि को ध्यान में रखकर यहां प्रस्तुत किया गया है.)